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नई दिल्ली आने वाले सभी रास्तों पर पिकेट लगाकर वाहनों की जांच हो रही है।
फलस्तीनी कैदियों के कड़ी सुरक्षा वाली जेल से रातोंरात भागने के बाद इजरायली सेना ने कब्जे वाले पश्चिमी तट में छह फलस्तीनियों की तलाश का अभियान छेड़ दिया है। अधिकारियों के अनुसार, रोड ब्लाक हटा दिए गए हैं और क्षेत्र में पेट्रोलिंग जारी है। इजरायल के आर्मी रेडियो के अनुसार, 400 कैदियों को भागने का आगे कोई प्रयास करने से रोकने के लिए उन्हें अधिक सुरक्षा वाली जेल में शिफ्ट किया जा रहा है। रेडियो के मुताबिक, गिलबोया जेल से वह एक सुरंग के रास्ते भागे थे। जबकि यह इजरायल की सबसे सुरक्षित जेलों में से एक मानी जाती है। इन लोगों को निश्चित रूप से बाहरी मदद मिली है।
इजरायल के प्रधानमंत्री नफ्ताली बेनेट ने इस घटना को बेहद घातक बताते हुए कहा कि विभिन्न इजरायली सुरक्षा एजेंसियों को बेहद घातक बताया है। माना जा रहा है कि फरार हुए कैदी जेनिन की ओर गए हैं जिसे अंतरराष्ट्रीय समुदाय से फलस्तीनी प्रशासन का समर्थन हासिल है।
इधर, भारत में इजरायली नागरिकों पर आतंकी हमले की खुफिया सूचना के बाद चौकसी बढ़ा दी गई है। इजरायली दूतावास व इससे जुड़े संगठनों की सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। पुलिस सूत्रों का कहना है कि दूतावास और इसके आसपास के क्षेत्र पर नजर रखी जा रही है। स्थानीय पुलिस के अलावा अर्द्धसैनिक बलों को भी सुरक्षा में तैनात किया गया है। छह सितंबर को इजरायल के लोग नववर्ष मनाते हैं। इस मौके पर दूतावास में लोगों की भारी भीड़ जुटती है। खुफिया एजेंसियों को सूचना मिली है कि आतंकी दूतावास में घुसकर इजरायल के नागरिकों और यहूदियों को निशाना बना सकते हैं। इसके बाद पुलिस ने इजरायली दूतावास, वाणिज्य दूतावास और उनके कर्मचारियों के आवास की सुरक्षा बढ़ा दी है। नई दिल्ली आने वाले सभी रास्तों पर पिकेट लगाकर वाहनों की जांच हो रही है।
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