विश्व

भारत- पाकिस्तान ने तीन दशक से अधिक की परंपरा को जारी रखते हुए परमाणु प्रतिष्ठानों की सूची का किया आदान-प्रदान

Gulabi
1 Jan 2022 2:05 PM GMT
भारत- पाकिस्तान ने तीन दशक से अधिक की परंपरा को जारी रखते हुए परमाणु प्रतिष्ठानों की सूची का किया आदान-प्रदान
x
इसके तहत वर्ष 1992 से हर साल पहली जनवरी को दोनों देश अपने यहां के परमाणु प्रतिष्ठानों व केंद्रों के बारे में एक-दूसरे को सूचित करते हैं
इस्लामाबाद, एजेंसी। भारत व पाकिस्तान ने तीन दशक से अधिक की परंपरा को जारी रखते हुए शनिवार को नई दिल्ली व इस्लामाबाद में राजनयिक माध्यम से एक साथ अपने परमाणु प्रतिष्ठानों की सूची का आदान-प्रदान किया। विदेश मंत्रालय (एमईए) ने एक बयान में कहा कि दोनों देशों के बीच एक-दूसरे के परमाणु प्रतिष्ठानों पर हमला न करने को लेकर एक समझौता हुआ था।
इसके तहत वर्ष 1992 से हर साल पहली जनवरी को दोनों देश अपने यहां के परमाणु प्रतिष्ठानों व केंद्रों के बारे में एक-दूसरे को सूचित करते हैं। मंत्रालय ने कहा, '31 दिसंबर, 1988 को हस्ताक्षरित व 27 जनवरी, 1991 को लागू इस समझौते में अन्य बातों के साथ-साथ यह प्रविधान है कि भारत व पाकिस्तान एक-दूसरे को हर साल एक जनवरी को उन परमाणु प्रतिष्ठानों और केंद्रों के बारे में सूचित करेंगे, जिन्हें समझौते के तहत शामिल किया गया है।'
भारत ने पाकिस्तान की जेलों में बंद भारतीयों को जल्द रिहा करने को कहा
भारत ने पाकिस्तान की जेलों में बंद 356 भारतीय मछुआरों व दो आम नागरिकों की जल्द रिहाई तथा उनकी वापसी सुनिश्चित करने की मांग की। इनकी नागरिकता की पुष्टि की जानकारी पाकिस्तान के प्रशासन को दे दी गई है। विदेश मंत्रालय की तरफ से जारी बयान के अनुसार, पाकिस्तान से 182 भारतीय मछुआरों व 17 आम नागरिक कैदियों को तत्काल राजनयिक पहुंच उपलब्ध कराने को भी कहा गया है। दोनों देश वर्ष 2008 के समझौता ढांचा के तहत हर वर्ष पहली जनवरी व एक जुलाई को अपनी जेलों में बंद एक-दूसरे के नागरिकों की सूची का आदान-प्रदान करते हैं। विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत ने पाकिस्तान के 282 नागरिक कैदियों एवं 73 मछुआरों की सूची पड़ोसी देश को सौंपी है। इसी प्रकार से पाकिस्तान ने उसकी हिरासत में रहने वाले 51 आम नागरिक कैदियों एवं 577 मछुआरों की सूची भारत को सौंपी है।
Next Story