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नई दिल्ली: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को इस्लामाबाद हाई कोर्ट ने तोशाखाना मामले में जैसे ही रिहाई का आदेश दिया, उसके तुरंत बाद उन्हें एफआईए ने गिरफ्तार कर लिया. उनकी यह गिरफ्तारी सिफर मामले में हुई है. इस मामले में उन्हें कल अदालत में पेश किया जाएगा.
इससे पहले इस्लामाबाद हाई कोर्ट ने निचली अदालत का फैसला पलटते हुए उन्हें जेल से रिहा करने का आदेश दिया था. कोर्ट के इस फैसला का पीटीआई ने स्वागत किया था और इसे संविधान की जीत बताया था.
बता दें कि हाल ही में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने अपने पद से इस्तीफा दिया था और उनकी जगह अनवर उल हक केयरटेकर प्रधानमंत्री बने हैं, जिसके बाद इमरान खान को तोशाखाना मामले में राहत मिली है. बलूचिस्तान अवामी पार्टी से जुड़े सीनेटर अनवर उल हक इस साल के अंत में नए चुनाव तक कार्यवाहक सरकार का नेतृत्व करेंगे. प्रधानमंत्री शरीफ ने 9 अगस्त को नेशनल असेंबली को भंग करने की सिफारिश की थी. ऐसे में संविधान के अनुसार अगला आम चुनाव 90 दिनों में होगा.
इमरान खान को अटक जेल में रखा गया था, लेकिन वह चाहते थे कि उन्हें अटक से रावलपिंडी की अदियाला जेल में शिफ्ट कर दिया जाए. इमरान खान के वकीलों का कहना है कि 70 साल के उनके मुवक्किल अटक जेल में नहीं रहना चाहते क्योंकि यहां दिन के समय मक्खियों और रात में कीट-पतंगों ने उनका जीना मुहाल कर रखा है.
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