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धर्म के नाम पर 'हेट स्पीच' का अंत होना चाहिए: के पी शर्मा ओली

Gulabi
9 Dec 2020 12:20 PM GMT
धर्म के नाम पर हेट स्पीच का अंत होना चाहिए: के पी शर्मा ओली
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कोई भी देश अगर गौतम बुद्ध के जन्म स्थान को नेपाल के अलावा कहीं और का बता रहे हैं, तो वो ये गलती सुधारें.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। भारत- नेपाल नक्शे पर विवाद के बाद अब नेपाल (Nepal) के प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली (K P Oli) ने अब गौतम बुद्ध के जन्म स्थान पर बयान दिया है. नेपाल के कीर्तिपुर में एक वृद्धाश्रम की नींव रखे जाने के कार्यक्रम में ओली ने सभी देशों से अपील की कि वो भगवान बुद्ध (Gautam Buddha) के जन्म स्थान के नाम में की गई गलती को सुधारें. उनका कहना है कि कोई भी देश अगर गौतम बुद्ध (Gautam Buddha) के जन्म स्थान को नेपाल के अलावा कहीं और का बता रहे हैं, तो वो ये गलती सुधारें.


धर्म जोड़ने के लिए होना चाहिए तोड़ने के लिए नहीं: ओली (K P Oli)
कार्यक्रम के दौरान नेपाल (Nepal) के प्रधानमंत्री के पी ओली (K P Oli) ने कहा कि 'धर्म के नाम पर 'हेट स्पीच' का अंत होना चाहिए. हर धर्म का संदेश शांति, सुलह और एकता होनाा चाहिए. धर्म जोड़ने के लिए होना चाहिए तोड़ने के लिए नहीं. बौद्ध दर्शन ने सबको शांति और एकता का ही संदेश दिया है'.

गौतम बुद्ध के जन्म स्थान पर गलती सुधारें देश

गौतम बुद्ध (Gautam Buddha) के जन्म स्थान को लेकर चल रहे विवाद पर पीएम ओली (K P Oli) ने अमेरिका का उदाहरण देते हुए कहा कि 'अमेरिका की स्कूली किताबों में अब तक गौतम बुद्ध के जन्म की जगह नेपाल (Nepal) नहीं बल्कि कुछ और लिखी थी. अब अमेरिका ने अपनी किताबों में ये गलती सुधार ली है'. मैं अन्य देशों से भी अपील करता हुं कि वो जन्मस्थान के नाम में सुधार कर लें.

लुंबिनी (Lumbini) है आस्था का केंद्र

दुनियाभर में बौद्ध धर्म को मानने वाले लोग लुंबिनी (Lumbini) को ही अपनी आस्था का केंद्र माना है. ओली (K P Oli) का कहना है कि वहां 5000 सीटों वाले मेडीटेशन सेंटर (Meditation Centre) का निर्माण कार्य चल रहा है. उन्होने ये भी बताया कि नेपाल सरकार ' प्रॉस्परस नेपाल, हैप्पी नेपाली (Prosperous Nepal, Happy Nepali) नाम का कैंपेन भी चलाएगी.

असुरक्षित महसूस न करें नेपाली
कार्यक्रम में मौजूद लोगों का विश्वास मजबूत करते हुए नेपाल के प्रधानमंत्री ने ये भी कहा कि किसी भी नेपाली को असुरक्षित महसूस करने की जरूरत नहीं है. किसी को पीड़ित या ठगा हुआ महसूस करने की भी जरूरत नहीं है. सरकार इन सभी मुद्दों पर चर्चा करेगी.


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