यह संयंत्र यूक्रेन के दक्षिण-पूर्व में एनर्होदर क्षेत्र में नीपर नदी के बाएं किनारे पर मौजूद है। एनर्होदर में रूस-नियुक्त अधिकारियों ने कहा कि यूक्रेनी बलों ने शुक्रवार देर रात नीपर के विपरीत किनारे से संयंत्र पर दो बार गोलाबारी की।
रूस-यूक्रेन के बीच लंबे खिंचते युद्ध में इन दिनों दोनबास के सबसे अहम सीमा क्षेत्र में लड़ाई छिड़ी हुई है। यहां दोनों देशों ने एक-दूसरे पर सबसे बड़े जपोरिज्झिया परमाणु ऊर्जा संयंत्र पर गोलाबारी का आरोप लगाया। इस भीषण जंग के बीच यूक्रेन से अनाज ले जाने तीन और जहाजों को छोड़ा गया।
शनिवार तड़के रूसी रॉकेट से दो राउंड फायरिंग में रिएक्टर का पॉवर ग्रिड से संपर्क तोड़ने का आरोप लगाया गया है। यूक्रेन की परमाणु एजेंसी का कहना है कि रूसी रॉकेटों की एक विशाल शृंखला ने रूस-नियंत्रित क्षेत्र स्थित परमाणु ऊर्जा संयंत्र का हिस्सा क्षतिग्रस्त कर दिया है। दक्षिणी यूक्रेन में यह यूरोप का सबसे बड़ा संयंत्र रहा है। हालांकि यूक्रेन ने कहा कि इससे अभी कोई विकिरण रिसाव नहीं हुआ है।
एनर्होदर के गवर्नर ने बताया कि जपोरिज्झिया संयंत्र में नाइट्रोजन-ऑक्सीजन इकाई और एक उच्च वोल्टेज की बिजली लाइन क्षतिग्रस्त हो गई है। यूक्रेन ने रूसी बलों पर आतंकी रणनीति को नियोजित करते हुए नागरिक क्षेत्रों में रॉकेट दागने का आरोप भी लगाया। जबकि यहां नियुक्त रूसी अधिकारियों ने इस गोलाबारी के लिए यूक्रेन को जिम्मेदार ठहराया है।
जपोरिज्झिया परमाणु ऊर्जा संयंत्र छह दबावयुक्त जल रिएक्टर हैं और यहां रेडियोधर्मी कचरे का भंडारण होता है। इसलिए इस पर हुए हमले से हाइड्रोजन रिसाव और रेडियोधर्मी कणों के फैलाव का खतरा है। इससे आग फैलने का खतरा भी जताया गया है। हालांकि फिलहाल इस हमले में किसी के हताहत होने की आशंका नहीं है। इस संयंत्र पर रूस ने मार्च में ही कब्जा कर लिया था। रूस ने इसके आसपास वाले क्षेत्रों पर भी नियंत्रण कर रखा है। संयंत्र में
यह संयंत्र यूक्रेन के दक्षिण-पूर्व में एनर्होदर क्षेत्र में नीपर नदी के बाएं किनारे पर मौजूद है। एनर्होदर में रूस-नियुक्त अधिकारियों ने कहा कि यूक्रेनी बलों ने शुक्रवार देर रात नीपर के विपरीत किनारे से संयंत्र पर दो बार गोलाबारी की। इस दौरान संयंत्र की दो बिजली लाइनें यूक्रेनी तोपखाने के हमले से प्रभावित हुईं और उनमें आग लग गई। अभी यह स्पष्ट नहीं है कि संयंत्र में कितनी बिजली लाइनें हैं।
रूस समर्थित रेग्नम न्यूज एजेंसी के मुताबिक, उत्तर कोरिया ने राजनयिक चैनलों के जरिये स्पष्ट किया है कि वह युद्ध के लिए रूस को मदद देने के लिए तत्पर है। वह रूस के पक्ष में संतुलन बनाने के प्रयास में एक विशाल लड़ाकू बल की आपूर्ति करने के लिए तैयार है। उन्हें लुहांस्क और दोनेस्क में रूस समर्थित अलगाववादी सेना में तैनात किया जाएगा। दोनों को हाल ही में किम जोंग उन ने स्वतंत्र देश के रूप में मान्यता दी है। सैनिकों के बदले किम जोंग की खराब अर्थव्यवस्था को ऊर्जा और अनाज की आपूर्ति की जाएगी।