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भूकंप के झटकों से हिली अंडमान और निकोबार धरती की, तीव्रता रिक्टर स्केल 4.1

Khushboo Dhruw
29 March 2021 9:37 AM GMT
भूकंप के झटकों से हिली अंडमान और निकोबार धरती की, तीव्रता रिक्टर स्केल 4.1
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अंडमान और निकोबार द्वीप के पास सोमवार को भूकंप के झटके महसूस किए गए

अंडमान और निकोबार द्वीप (Andaman and Nicobar islands) के पास सोमवार को भूकंप के झटके (Earthquake tremors) महसूस किए गए. नेशनल सेंटर फॉर सिस्मोलॉजी के मुताबिक, रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 4.1 मापी गई है. अभी तक इससे किसी तरह के नुकसान की खबर नहीं है. इस महीने भारत की अलग-अलग जगहों पर भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं. इससे पहले 25 मार्च को केंद्र शासित राज्य लद्दाख की राजधानी में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. नेशनल सेंटर फॉर सिस्मोलॉजी के मुताबिक, रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 3.5 थी.

वहीं, नागालैंड के मोकोकचुंग में 21 मार्च को भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के मुताबिक, मोकोकचुंग में सुबह 10 बजकर छह मिनट पर भूकंप आया, जिसकी तीव्रता 4.2 मापी गई थी. इसी महीने 6 मार्च को भी लद्दाख में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. तब भूकंप की तीव्रता 3.6 थी. वहीं पिछले महीने 18 फरवरी को भी लद्दाख में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. भूकंप की तीव्रता 3.7 थी और गहराई करीब 200 किलोमीटर दर्ज की गई थी.

क्यों आता है भूकंप?
पृथ्वी कई लेयर में बंटी होती है और जमीन के नीचे कई चरह की प्लेट होती है. ये प्लेट्स आपस में फंसी रहती हैं, लेकिन कभी-कभी ये प्लेट्स खिसक जाती है, जिस वजह से भूकंप आता है. कई बार इससे ज्यादा कंपन हो जाता है और इसकी तीव्रता बढ़ जाती है, इससे धरती पर कई जलजले भी आ चुके हैं. भारत में भूकंप पृथ्वी के भीतर की परतों में होने वाली भोगौलिक हलचल के आधार पर कुछ जोन निर्धारित किए गए हैं और कुछ जगह यह ज्यादा होती है तो कुछ जगह कम.


इन संभावनाओं के आधार पर भारत को 5 जोन बांटा गया है, जो बताता है कि भारत में कहां सबसे ज्यादा भूकंप आने का खतरा रहता है. इसमें जोन-5 में सबसे ज्यादा भूकंप आने की संभावना रहती है और 4 में उससे कम, 3 उससे कम होती है.

भूकंप आने पर क्या करें, क्या न करें?

1. जैसे ही आपको भूकंप के झटके महसूस हों, वैसे ही आप किसी मजबूत टेबल के नीचे बैठ जाएं और कस कर पकड़ लें.
2. जब तक झटके जारी रहें या आप सुनिश्चित न कर लें कि आप सुरक्षित ढंग से बाहर निकल सकते हैं, तब तक एक ही जगह बैठे रहें.
3. यदि आप ऊंची इमारत में रहते हैं तो खिड़की से दूर रहें.
4. यदि आप बिस्‍तर पर हैं तो वहीं रहें और उसे कसकर पकड़ लें. अपने सिर पर तकिया रख लें.
5. यदि आप बाहर हैं तो किसी खाली स्‍थान पर चले जाएं, यानी बिल्डिंग, मकान, पेड़, बिजली के खंभों से दूर.
6. यदि आप कार चला रहे हैं तो कार धीमी करें और एक खाली स्‍थान पर ले जाकर पार्क कर दें. तब तक कार में बैठे रहें, जबतक झटके खत्‍म नहीं हो जाएं.
7. अगर आप बाहर, सड़क पर या बाजार में हो तो पास में मैदान या खुली जगह में पहुंच जाएं.
8. ऊंची बिल्डिंगों के करीब न रहें और उनसे दूर चले जाएं.
9. अगर आप कहीं अंदर फंस गए हैं तो दौड़ें नहीं, इससे और तेज झटके लग सकते हैं.
10. पेड़ों से और बिजली के तारों से दूर रहने की कोशिश करें.


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