दो दशक में गोलीबारी की कई नृशंस वारदात के बाद अमेरिकी नागरिक बंदूक संस्कृति के खिलाफ एकजुट हो रहे हैं। शनिवार को वाशिंगटन डीसी स्थित राष्ट्रीय स्मारक के साथ देश के 300 शहरों में बंदूकों के खिलाफ प्रदर्शनों का आयोजन किया गया। हर जगह हजारों लोग जुटे। प्रदर्शन यूरोप में भी कई स्थानों पर हुए। मुख्य प्रदर्शनस्थल वाशिंगटन के राष्ट्रीय स्मारक पर गोलीबारी से बचे लोग, शिक्षकों के प्रतिनिधि, नागरिक अधिकार समर्थक और चुने गए अधिकारी लोगों को संबोधित करने पहुंचे।
सीनेट में बंदूकों का इस्तेमाल रोकने पर काफी समय से बहस चल रही है, लेकिन कानून बनाने के प्रयास रिपब्लिकन सदस्य हर बार नाकाम कर देते हैं। उनका कहना है कि गोलीबारी में बड़ी तादाद में लोगों की मौतें हथियारों के कारण नहीं, बल्कि अन्य सामाजिक कारणों, जैसे मानसिक अस्वस्थता, स्कूलों की सुरक्षा में चूक आदि से होती हैं। सीनेट हालांकि इसके पीछे हथियारों की खरीद की जांच की बात कहती है।
ऐसे ही प्रदर्शन वर्ष 2018 में भी उस समय हुए थे, जब 19 साल के बंदूकधारी ने पॉर्कलैंड के डगलस हाईस्कूल में गोलीबारी कर 17 विद्यार्थियों की हत्या कर दी थी और 17 अन्य को घायल कर दिया था। पिछले महीने बफेलो सुपरमार्केट में 10 अश्वेत लोगों की हत्या और टेक्सास के युवाल्डे स्थित रॉब एलिमेंटरी स्कूल में 19 विद्यार्थियों और दो शिक्षकों की हत्या की वारदात हुई हैं। प्रदर्शनों में शामिल लोगों का संदेश है, अब और नहीं।
न्यू मैक्सिको दौरे में बाइडन को झेलना पड़ा लोगों का गुस्सा
अमेरिका के राष्ट्रपति न्यू मैक्सिको में लोगों को बताने गए थे कि प्रशासन ने जंगलों में लगी आग पर काबू पाने के लिए क्या प्रयास किए हैं, लेकिन तारीफ के बजाय उन्हें लोगों का गुस्सा झेलना पड़ा। नागरिकों का गुस्सा इस बात पर था कि संघीय अधिकारियों ने हालात को हाथ से कैसे निकलने दिया। आग अब तक के सबसे विकराल रूप में है। अप्रैल से अब तक 1300 वर्ग किमी इलाके को चपेट में ले चुकी आग के कारण 430 घर नष्ट हो गए हैं। दूरदराज के इलाकों में रहने वाले हजारों ग्रामीणों को जान बचाकर भागना पड़ा है। इस इलाके में गरीबी को हैलैत हैं। पर्यावरण को क्षति पहुंची है।