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सिलेब्रिटी शेफ गॉर्डन रामसे की बेटी के साथ हुआ दो बार यौन उत्पीड़न, महीनों मेंटल हेल्थ हॉस्पिटल में रहीं भर्ती

Neha Dani
27 May 2021 9:13 AM GMT
सिलेब्रिटी शेफ गॉर्डन रामसे की बेटी के साथ हुआ दो बार यौन उत्पीड़न, महीनों मेंटल हेल्थ हॉस्पिटल में रहीं भर्ती
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वह चिड़चिड़ा हो जाता है, उसकी एकाग्रता की क्षमता प्रभावित होती है.

सिलेब्रिटी शेफ गॉर्डन रामसे (Gordon Ramsay) की बेटी का 18 साल की उम्र में दो बार यौन उत्पीड़न (Sexual Assault) हुआ था. जिसकी वजह से उसे बीच में ही पढ़ाई छोड़नी पड़ी और अस्पताल में भर्ती रहना पड़ा. इसका खुलासा खुद रामसे की बेटी होली (Holly) ने किया है. अब 21 वर्ष की हो चुकीं होली ने बताया कि उन घटनाओं के बाद वह पूरी तरह टूट गई थीं, गॉर्डन रामसे ने उन्हें इससे बाहर निकलने में मदद की.

Podcast में बयां की खौफनाक दास्तां
'द सन' की रिपोर्ट के अनुसार, यौन उत्पीड़न की घटनाओं की वजह से होली पोस्ट-ट्रॉमैटिक स्ट्रेस डिसऑर्डर (PTSD) का शिकार हो गई थीं और उन्हें करीब तीन महीनों तक मेंटल हेल्थ हॉस्पिटल में रखा गया था. अपने पॉडकास्ट में होली ने बताया कि जब उन्होंने यूनिवर्सिटी में फैशन डिजाइनिंग का कोर्स ज्वाइन किया तो वे बेहद उत्साहित थीं. सब कुछ अच्छा चल रहा था, लेकिन फिर कुछ ऐसा हुआ, जिससे उनकी जिंदगी बदल गई.
घटना के बारे में किसी को नहीं बताया था
होली ने बताया कि वह PTSD का शिकार हो रही थीं और उन्होंने घर से बाहर जाना बंद कर दिया था. उन्होंने यौन उत्पीड़न की घटनाओं के बारे में काफी समय तक किसी को कुछ नहीं बताया. रिपोर्ट के मुताबिक, होली का मानसिक स्वास्थ्य इतना खराब हो गया था कि उन्होंने एक वर्ष में ही लंदन स्थित Ravensbourne University छोड़ दी, जिसके बाद इलाज के लिए उन्हें मानसिक स्वास्थ्य अस्पताल में भर्ती कराया गया.
'Family ने दिया हर कदम पर साथ'
होली ने कहा, 'मुझे अब भी थेरेपी की जरूरत पड़ती है. मैं उन घटनाओं को भूलना चाहती हूं और कोशिश भी कर रही हूं. मेरा परिवार हर पल मेरे साथ खड़ा रहा है. मेरे पिता, मां, भाई और बहनों ने मुझे PTSD से बाहर निकलने में मदद की है'. Celebrity Chef गॉर्डन रामसे ने पिछले साल बताया था कि होली को बीच-बीच में दौरे पड़ते रहते हैं. वह यौन उत्पीड़न की घटनाओं को याद करके सहम जाती है.
क्या होता है PTSD?
पोस्ट-ट्रॉमैटिक स्ट्रेस डिसऑर्डर (PTSD)मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ी समस्या है, जो किसी ऐसी भयानक घटना से उत्पन्न होती है जिसे व्यक्ति ने खुद अनुभव किया हो या फिर देखा हो. इस डिसऑर्डर के लक्षणों में फ्लैशबैक, बार-बार घटना से जुड़े सपने आना, हाई ऐंग्जाइटी लेवल शामिल हैं, जिससे संबंधित व्यक्ति के लिए साधारण रूप से जीवन जीना मुश्किल हो जाता है. इसके कारण व्यक्ति को घटना से जुड़ी किसी भी स्थिति या चीज से डर लगने लगता है. वह चिड़चिड़ा हो जाता है, उसकी एकाग्रता की क्षमता प्रभावित होती है.

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