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ब्लैक सी में एक बार फिर रूस और अमेरिका आमने-सामने हो सकते हैं
ब्लैक सी में एक बार फिर रूस और अमेरिका आमने-सामने हो सकते हैं। अमेरिका और ब्रिटेन से जारी तनाव के मध्य रूसी नौसेना 25 जुलाई को काला सागर में सैन्य परेड करने जा रही है। इस सैन्य परेड में रूसी नौसेना के जंगी जहाज, परमाणु पनडुब्बियां, फ्रिगेट्स, मिसाइल बोट और लड़ाकू विमान हिस्सा ले रहे हैं। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के इस कदम से एक बार फिर काला सागर में तनाव उत्पन्न हो सकता है।
फिनलैंड की खाड़ी में रूसी नौसेना दिखाएगी अपनी ताकत
रूसी नौसेना की इस पहल के बीच रूस की बोरेई क्लास की परमाणु पनडुब्बी प्रिंस व्लादिमीर को फिनलैंड की खाड़ी में देखा गया है। यह पनडुब्बी अपने साथ 16 की संख्या में आर-30 बुलावा सबमरीन लॉन्च बैलिस्टिक मिसाइल से लैस है। हाल में फिनलैंड की खाड़ी में ऑस्कर-II क्लास की परमाणु शक्ति से चलने वाली क्रूज मिसाइल पनडुब्बी Orel (K-266) को भी देखा गया था। यह रूसी परमाणु पनडुब्बी भी एक साथ 96 ठिकानों पर परमाणु हमला करने में समर्थ है। इसके अलावा एक और परमाणु पनडुब्बी इस इलाके में गश्त कर रही है। ऐसा पहली बार हुआ है, जब रूस ने बाल्टिक सागर इलाके में एक साथ तीन परमाणु पनडुब्बियों को तैनात किया है।
25 जुलाई को ताकत दिखाएगी रूसी नौसेना
रूसी नौसेना ने इसके लिए एक खास स्थान का चयन किया है। यह परेड फिनलैंड की खाड़ी के किनारे बसे सेंट पीटर्सबर्ग नौसैनिक अड्डे पर 25 जुलाई को आयोजित होगा। बता दें कि सेंट पीटर्सबर्ग रूस के सबसे बड़े औद्योगिक शहरों में से एक है। यही वह स्थान है, जहां रूसी नौसेना की उत्तरी फ्लीट तैनात रहती है, जो यूरोप से लेकर आर्कटिक तक सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालती है। रूस का ज्यादातर व्यापार भी सेंट पीटर्सबर्ग स्थित शिपयॉर्ड से ही किया जाता है।
रूस ने एस-400 मिसाइल सिस्टम का परीक्षण किया
दो दिन पूर्व ही रूसी वायु सेना ने यूक्रेन से कब्जाए हुए क्रीमिया में एस-400 मिसाइल सिस्टम का परीक्षण किया था। रूसी के नौसेना ने बताया था कि वे इस मिसाइल डिफेंस सिस्टम की ऑपरेशनल तैयारियों को जांच रहे हैं। नौसेना के काला सागर बेड़े के प्रवक्ता कैप्टन एलेक्सी रुलियोव ने बताया कि बेड़े के विमान और हेलीकॉप्टरों ने दक्षिणी सैन्य जिले के एयरफोर्स फॉर्मेशन के साथ यह युद्धाभ्यास किया।
नाटो के वार्षिक युद्धाभ्यास चिढ़ा रूस
बता दें कि ब्लैक सी के उत्तर पश्चिम हिस्से में अमेरिका के नेतृत्व वाले सैन्य संगठन नाटो के वार्षिक युद्धाभ्यास सी ब्रिज से रूस चिढ़ा हुआ है। नाटो देश जानबूझकर रूस को उकसाने के लिए हर साल इसी इलाके में युद्धाभ्यास करते हैं। रूसी नौसेना के युद्धपोतों ने भी इस सैन्य अभ्यास पर करीबी निगाह रखी। इसमें रूस के विरोधी गुट के 32 देशों के लगभग 5,000 सैनिक और 32 युद्धपोत शामिल हुए थे।
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