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न्यूज़ क्रेडिट: आजतक
इसे अमेरिका ने 2019 में आतंकी संगठन घोषित किया है.
नई दिल्ली: पाकिस्तान में एक हफ्ते पहले अगवा हुए आर्मी अफसर कर्नल लाइक बेग मिर्जा का गुरुवार को बलूचिस्तान प्रांत के एक हाईवे पर शव मिला है. इस हत्या की जिम्मेदारी बलूचिस्तान लिब्रेशन आर्मी ने ली है. इसे अमेरिका ने 2019 में आतंकी संगठन घोषित किया है.
कर्नल लाईक बेग मिर्जा अपने परिवार के साथ बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा से करीब 100 दूर जियारत की यात्रा पर निकले थे. इसके बाद आतंकियों ने उन्हें अगवा कर लिया. हालांकि, इस दौरान आतंकियों ने कर्नल बेग के परिवार को कोई नुकसान नहीं पहुंचाया था.
मिर्जा ईद की छुट्टी पर परिवार के साथ कराची से जियारत निकले थे. बलूचिस्तान के सीएम कुद्दुस बिजेंजो ने कहा कि दोषियों को सख्त सजा दी जाएगी और मिर्जा के परिवार को इंसाफ मिलेगा. इतना ही नहीं उन्होंने बताया कि सुरक्षाबलों ने कर्नल मिर्जा की हत्या में शामिल लोगों की तलाश में ऑपरेशन शुरू कर दिया है.
पाकिस्तान की सेना के मुताबिक, 10-12 आतंकियों का गुट मिर्जा की किडनैपिंग में शामिल था. इसके तुरंत बाद सेना ने क्विक रिएक्शन फोर्स को तैनात कर दिया था. इतना ही नहीं हेलिकॉप्टर्स को भी आतंकियों के सर्च में लगाया गया है.
सुरक्षाबलों ने बुधवार रात 6-8 आतंकियों को पहाड़ों के पास देखा था. माना जा रहा है कि इन आतंकियों ने संभावित खतरे को भांपते हुए लेफ्टिनेंट कर्नल लाइक बेग मिर्जा को गोली मार दी और भागने की कोशिश की. इसके बाद सुरक्षाबलों ने फायरिंग की, इसमें दो आतंकी मारे गए हैं. जबकि बाकी आतंकी कर्नल मिर्जा के चचेरे भाई के साथ शेष आतंकवादी भागने में सफल रहे.
पिछले एक दशक में, बलूचिस्तान ने लगातार विद्रोह हो रहे हैं. यहां बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी और अन्य अलगाववादी समूह लगातार बलूचिस्तान को अलग देश बनाने की मांग कर रहे हैं. जून 2013 में पाकिस्तान के संस्थापक मुहम्मद अली जिन्ना के ऐतिहासिक कायदे आजम रेजीडेंसी पर बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी ने हमला किया था और इसे जला दिया था.
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