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विमानन उद्योग (Aviation Industry) ने दुनिया को बदलने का काम किया है.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | विमानन उद्योग (Aviation Industry) ने दुनिया को बदलने का काम किया है. पिछले 100 सालों में जिस गति से विमान यात्रा के जरिए लोगों की आवाजाही बढ़ी है. वैसा पिछले कुछ शताब्दियों में नहीं हुआ है. लेकिन विमानन उद्योग अपने खतरनाक प्लेन हादसों (Plane Accident) के लिए भी जाना जाता है. इस हादसों की वजह से अभी तक न जाने कितने हजारों लोगों की मौत हो चुकी है. ऐसा ही एक हादसा आज ही के दिन ब्रिटेन (Britain) में हुआ था, जब टेकऑफ के 150 सेकेंड के भीतर ही विमान क्रैश हो गया और इसमें सवार 118 लोगों की मौत हो गई.
18 जून 1972 की एक सर्द और गीले दिन 118 लोग ब्रिटिश यूरोपियन एयरवेज (BEA) के विमान में सवार हुए. ये विमान लंदन के हीथ्रो एयरपोर्ट से ब्रुसेल्स जा रहा था. लेकिन उड़ान भरने के 150 सेकेंड के भीतर ही विमान आसमान से तेज रफ्तार से नीचे गिरा और एक मैदान में जाकर क्रैश हो गया. विमान के क्रैश होते ही ये आग की लपटों में घिर गया. घटना की जानकारी मिलते ही बचाव दल पहुंचा और उसे सिर्फ एक व्यक्ति जीवित मिला. लेकिन उसे आईं चोटें इतनी गंभीर थीं कि अस्पताल पहुंचने पर इलाज के दौरान ही उसने दम तोड़ दिया. वहीं, विमान में सवार छह क्रू मेंबर्स भी मारे गए.
क्या पायलट की गलती से हुआ हादसा?
विमान में समान के अधिक वजन होने की वजह से इसने 20 मिनट की देरी से उड़ान भरी. इस विमान हादसे को लेकर बनाई गई रिपोर्ट में बताया गया कि पायलट उड़ान के दौरान हर स्टेज में उपयुक्त रफ्तार हासिल करने में लगातार विफल हो रहा है. इसी वजह से पायलट को विमान को संभालने में कठिनाई का सामना करना पड़ा. पायलट की पहले गलती उड़ान भरने के 114 सेकेंड बाद ही सामने आई, जब उसने 162 समुद्री मील की रफ्तार पर विमान के विंग स्लैट्स को वापस ले लिया. जबकि इसके लिए रफ्तार 60 समुद्री मील होनी चाहिए. इस दौरान विमान के सिस्टम की तरफ से उन्हें चेतावनी भी दी गई, लेकिन उन्होंने इसे अनदेखा कर दिया.
150 सेकेंड में जमीन पर आ गिरा विमान
वहीं, पायलट ने रफ्तार को बढ़ाए रखना जारी रखा और विमान 1560 फीट की ऊंचाई पर पहुंच गयी. अब विमान ने हिचकोले खाना शुरू कर दिया था, लेकिन पायलट द्वारा इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया जा रहा है. कुछ सेकेंड के भीतर विमान तेज रफ्तार से नीचे गिरने लगा. वहीं, विमान की नोज को गलती से नीचे कर दिया गया, जिसने रफ्तार को अधिक कर दिया. हालांकि, पायलट ने इसे ठीक करने की कोशिश की, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी. विमान तेजी से नीचे बढ़ रहा था और उड़ान के महज 150 सेकेंड बाद ही क्रैश हो गया. ये विमान हीथ्रो एयरपोर्ट के पास एक मैदान में क्रैश हुआ था.
ज्यादा वजन लोड करने की वजह से हुआ हादसा
क्रैश होने के बाद विमान से ईंधन बहने लगा, जिसके चलते आग लग गई. विमान में सवार 118 लोगों में से 117 की तो क्रैश के दौरान ही मौत हो गई. वहीं, एक व्यक्ति जिंदा बचा, लेकिन अस्पताल में इलाज के दौरान उसने भी दम तोड़ दिया. हादसे की जांच करने वाले जांचकर्ताओं ने बताया कि विमान में क्षमता से अधिक वजन रखा गया था, जिस वजह से ये विमान इसे सहन नहीं कर पाया और क्रैश हो गया.
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