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लेकिन सभी राज्य ऐसा कानून ले आए तो मुश्किल खड़ी हो जाएगी ।
विश्व की सबसे बड़ी टेक कंपनियों की मनमानी को रोकने के लिए पिछले 6 महीनों में अमेरिका के 38 राज्य 100 कानूनों पर काम शुरू कर चुके हैं। इनमें से कुछ पास भी कर दिए गए हैं।
केवल नागरिकों की निजता व डाटा बचाने के लिए ही 27 कानून लाए गए हैं, जबकि 2018 तक ऐसे दो ही कानून थे। विशेषज्ञों के अनुसार राज्यों को यह कदम इसलिए उठाने पड़े क्योंकि अमेरिकी सरकार खुद इस दिशा में बहुत धीरे चल रही है।
अमेरिका के केंद्रीय जनसंपर्क आयोग के पूर्व अध्यक्ष टॉम व्हीलर के अनुसार अगर राष्ट्रीय स्तर पर नीति निर्माता विफल होंगे तो राज्यों का काम निश्चित तौर पर बढ़ेगा।
ई-कॉमर्स पर सख्ती
अरकंसास में ई-कॉमर्स कंपनियों को अपने प्लेटफार्म पर सामान बेच रहे कारोबारियों के फोन नंबर, ईमेल व कार्यालय के पते भी यूजर्स को उपलब्ध करवाने होंगे ।
लॉबिंग से कानून रोकने में जुटे फेसबुक-गूगल
फेसबुक, गूगल, अमेजन, ट्विटर, एपल जैसी प्रमुख टेक कंपनियां इससे अपने लिए संकट बढ़ता महसूस कर रही हैं। बचने के लिए उन्होंने लॉबिंग का आसान तरीका अपनाया है।
वे राजनेताओं को लॉबिंग से अपने पक्ष में करने की कोशिश में हैं। एक नॉन प्रॉफिट शोध संस्था नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मनी के अनुसार 2019 में गूगल, फेसबुक व अमेजन ने मिलकर करीब 37 करोड रुपए का लॉबिंग फंड बनाया था।
लेकिन राजनेता इस बार सख्त
मैरीलैंड में फेसबुक और गूगल पर टैक्स का कानून लाया गया जिससे गवर्नर ने वीटो करवा दिया। लेकिन राजनेताओं ने काम जारी रखा और टेक कंपनियों द्वारा दिखाए जा रहे विज्ञापनों की आय पर टैक्स का प्रस्ताव दिया। इससे मैरीलैंड को पहले ही वित्त वर्ष में ही करीब 25 करोड़ डॉलर कमाई होगी।
गूगल-फेसबुक के लिए मुश्किल
27 लाख करोड डॉलर विज्ञापन से कमाने वाले गूगल - फेसबुक के लिए यह रकम बहुत छोटी है , लेकिन सभी राज्य ऐसा कानून ले आए तो मुश्किल खड़ी हो जाएगी ।
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