नैनीताल: बेसिक शिक्षक भर्ती में एनआईओएस डीएलएड को शामिल न करने के सुप्रीम कोर्ट के फैसले से बीएड टीईटी प्रशिक्षित बेरोजगारों में उत्साह की लहर है. वहीं एनआईआईएस डीएलएड वालों ने इस मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ रिव्यू दाखिल करने का निर्णय किया है.
बहरहाल, सुप्रीम कोर्ट के फैसले से शिक्षा विभाग में पिछले करीब डेढ़ साल से लटकी बेसिक शिक्षक भर्ती के दोबारा शुरू होने का रास्ता फिलहाल खुल गया. वर्तमान 2600 में से अब करीब 800 पदों पर भर्ती होनी है. इसके साथ ही 2300 पद पर नई भर्ती का प्रस्ताव भी शासन को कुछ समय पहले भेजा जा चुका है. बीएड टीईटी प्रशिक्षित बेरोजगार महासंघ के प्रवक्ता अरविंद राणा ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला सत्य की जीत है. विभागीय सेवा नियमावली में पहले ही प्रावधान है कि डीएलएड अभ्यर्थी न मिलने पर बीएड प्रशिक्षितों को भी सरकार भर्ती में शामिल कर सकती है. इस फैसले के लिए बेरोजगार राज्य सरकार के भी आभारी हैं. अब सरकार को तत्काल अधूरी भर्ती प्रक्रिया को जल्द शुरू करना चाहिए. दूसरी तरफ, सुप्रीम कोर्ट के फैसले से मायूस एनआईओएस डीएलएड अभ्यर्थियों ने भी हिम्मत नहीं हारी.-
एनआईओएस डीएलएड संगठन के प्रदेश अध्यक्ष नंदन वोहरा ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के खिलाफ पुनर्विचार याचिका दायर करेंगे. कुछ समय पहले ही सुप्रीम कोर्ट राजस्थान से जुडे़ मामले में बीएड डिग्री को प्राथमिक शिक्षक की शैक्षिक योग्यता से अमान्य कर चुका है. यदि विभाग फिर भी बीएड प्रशिक्षितों को भर्ती में शामिल करेगा तो उसके खिलाफ भी कानूनी कार्यवाही की जाएगी.
सुप्रीम कोर्ट के फैसले की सत्यापित कापी की प्रतीक्षा की जा रही है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार ही आगे कार्यवाही की जाएगी. -आरके उनियाल, बेसिक शिक्षा निदेशक