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इलेक्ट्रॉनिक आइटम हो सकते हैं महंगे, AC-कूलर समेत ये प्रोड्क्टस खरीदने वाले पढ़े पूरी खबर
अनलॉक खुलने के बाद टीवी-फ्रिज समेत किसी भी इलेक्ट्रॉनिक आइटम के लिए ग्राहकों को ज्यादा कीमत चुकानी हो सकती है. इलेक्ट्रॉनिक सामानों की कीमतों में बढ़ोतरी की वजह कॉपर की कीमतों में आया जोरदार उछाल है. कोरोना ने सेहत और अर्थव्यवस्था को तो संकट में डाल ही दिया है. अब इस महामारी के प्रकोप से महंगाई भी आम आदमी की मुश्किलों को बढ़ाने में लगी है. दरअसल, कोरोना का असर अर्थव्यवस्था के साथ ही कई कमॉडिटीज की कीमतों पर भी पड़ा है. चीन में कॉपर की खपत बढ़ने से इसकी मांग काफी तेज हो गई, जिसकी वजह से कॉपर की कीमतों में उछाल आया है. कॉपर का इस्तेमाल कई इलेक्ट्रॉनिक्स सामानों को बनाने में होता है. ऐसे में कॉपर के दाम बढ़ने से इलेक्ट्रॉनिक आइटम्स भी महंगे हो सकते हैं.
कॉपर का 65 फीसदी इस्तेमाल इलेक्ट्रिकल उपकरणों, 25 फीसदी कंस्ट्रशन, 7 फीसदी ट्रांसपोर्ट और 3 फीसदी बाकी सेक्टर्स में होता है. आने वाले समय में कॉपर की कीमतों में और भी तेजी आ सकती है.
ऐसे में पानी की मोटर, एयर कंडीशनर, कूलर, मिक्सर ग्राइंडर, वायरिंग, हीटिंग एलीमेंट्स, मोटर्स, रिन्यूएबल एनर्जी, इंटरनेट लाइंस जैसी चीजें महंगी हो सकती हैं. क्योंकि इस प्रोडक्ट्स में कॉपर का इस्तेमाल होता है. खासकर गर्मियों में कूलिंग प्रोडक्ट्स की डिमांड बढ़ जाती है, और सभी कूलिंग प्रोडक्ट्स में कॉपर का इस्तेमाल होता है.
कोरोना की पहली लहर में लगे सख्त लॉकडाउन की खत्म होने पर औद्योगिक उत्पादन में आई तेजी से उद्योगों में बड़े पैमाने पर कॉपर का इस्तेमाल होने लगा है. ऐसे में इसकी मांग लगातार बढ़ रही है, डिमांड के साथ-साथ कीमतें भी बढ़ रही हैं. इसके अलावा चिली ने कॉपर माइनिंग पर 75 फीसदी टैक्स लगाया है, जिससे भी इसकी कीमतों में उछाल आया है. चिली वैश्विक कॉपर का करीब एक चौथाई उत्पादन करने वाले देश है. माना जा रहा है कि अनलॉक के बाद देश में भी कॉपर की डिमांड बढ़ेगी जिससे इसकी कीमतों में और तेजी आने का अंदेशा है.