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भारतीय टेस्ट क्रिकेट टीम के कप्तान विराट कोहली मैदान पर रहें या फिर मैदान से बाहर हर जगह चर्चा में बने रहते हैं
भारतीय टेस्ट क्रिकेट टीम के कप्तान विराट कोहली मैदान पर रहें या फिर मैदान से बाहर हर जगह चर्चा में बने रहते हैं। हाल ही में भारतीय वनडे टीम की कप्तानी से हटाए जाने के बाद उन्होंने जिस तरह का बयान दिया उसके बाद वो खूब सुर्खियों में बने रहे। विराट कोहली और भारतीय क्रिकेट बोर्ड के बीच के कोल्ड वार को लेकर कई पूर्व क्रिकेटर्स ने अपनी-अपनी राय दी। इसमें पाकिस्तानी क्रिकेटर्स भी शामिल रहे और शाहिद अफरीदी ने भी कहा था कि कोहली और बोर्ड के बीच के विवाद को सुलझाने के लिए क्या करना चाहिए।
भारतीय टेस्ट टीम के खिलाड़ी
अब विराट कोहली के मामले को लेकर पाकिस्तान के पूर्व स्पिनर दानिश कनेरिया ने भी अपनी राय दी है। उन्होंने कहा कि विराट कोहली को अनिल कुंबले से परेशानी थी जब वो टीम के हेड कोच बने थे और अब उन्होंने सौरव गांगुली जैसे लीजेंड के खिलाफ भी बोल दिया। कनेरिया ने आइएएनएस को दिए इंटरव्यू में कहा कि विराट कोहली ने पिछले दो साल से इंटरनेशनल क्रिेकेट में शतक नहीं बनाया है और उन्हें अपने खेल पर ध्यान देना चाहिए। सौरव गांगुली जैसे लीजेंड और किसी अन्य के खिलाफ बोलना उनकी मदद नहीं करेगा।
कनेरिया ने आगे कहा कि विराट कोहली को अनिल कुंबले से परेशानी थी और अब उन्हें सौरव गांगुली से भी परेशानी है। कुंबले और गांगुली ने साबित किया है कि वो क्रिेकेट खेल के रियल एंबेसडर हैं। विराट कोहली उस गांगुली के खिलाफ बोल रहे हैं जिन्होंने भारतीय क्रिेकेट को बदलकर रख दिया और एम एस धौनी ने उस परंपरा को आगे बढ़ाया। विराट कोहली के 90 मिनट की इस हंसी की वाकई इस वक्त जरूरत नहीं थी।
कनेरिया ने कहा कि विराट कोहली इस समय टेस्ट और टी20 में रन बनाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं और एक कप्तान के तौर पर उन्होंने कोई भी आइसीसी खिताब नहीं जीता था और ऐसे में सबकुछ उनके खिलाफ जा रहा था। इसके बाद उन्होंने जो ब्लेम गेम खेला है मुझे नहीं लगता है कि उससे उनकी कुछ मदद हो पाएगी। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि रोहित शर्मा बेहतरीन खिलाड़ी हैं और अच्छे कप्तान साबित होंगे तो वहीं राहुल द्रविड़ के साथ उनका तालमेल काफी अच्छा है। कनेरिया ने कहा कि मुझे नहीं लगता है कि विराट कोहली के द्रविड़ के साथ संबंध लंबे समय में अच्छे रहेंगे।
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