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भारत और इंग्लैंड: जसप्रीत बुमराह ने WTC फाइनल की नाकामी नॉटिंघम की सफलता को लेकर किया खुलासा

Admin4
8 Aug 2021 1:38 PM GMT
भारत और इंग्लैंड: जसप्रीत बुमराह ने WTC फाइनल की नाकामी नॉटिंघम की सफलता को लेकर किया खुलासा
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बुमराह दोनों पारियों में एक भी विकेट हासिल नहीं कर सके थे. उनके अलावा टीम के अन्य तेज गेंदबाजों को सफलता मिली थी. लेकिन भारतीय गेंदबाज ने साफ किया है कि उन्होंने उस निराशाजनक प्रदर्शन के बाद अपनी तकनीक या गेंदबाजी में कोई बड़ा बदलाव नहीं किया. इसके बजाए उन्होंने मानसिकता में बदलाव किया और इसका फायदा ही उन्हें नॉटिंघम में मिला.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क :- नॉटिंघम (Nottingham) में भारत और इंग्लैंड (India vs England) के बीच पहले टेस्ट मैच में दोनों टीमों की ओर से कुछ खिलाड़ियों ने बेहतरीन प्रदर्शन किया है. इंग्लैंड के लिए कप्तान जो रूट का शतक, ऑली रॉबिनसन के 5 विकेट और 39 साल के जेम्स एंडरसन की कहर बरपाती गेंदों का असर. वहीं भारत के लिए दो खिलाड़ियों ने अभी तक सबसे ज्यादा प्रभावित किया- केएल राहुल (KL Rahul) और जसप्रीत बुमराह (Jasprit Bumrah). राहुल ने पहली पारी में अर्धशतक जमाया, जबकि बुमराह दोनों पारियों में भारत के सबसे गेंदबाज रहे. बात फिलहाल बुमराह की, जिन्हें करीब डेढ़ महीने पहले ही आईसीसी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में अपनी गेंदबाजी के कारण आलोचना झेलनी पड़ी थी. अब बुमराह ने बताया है कि इन डेढ़ महीने के अंदर उन्होंने ऐसा क्या बदलाव किया, जिसने नॉटिंघम में अपना असर दिखाया.

न्यूजीलैंड के खिलाफ जून में साउथैंप्टन में खेले गए फाइनल मुकाबले में बुमराह दोनों पारियों में एक भी विकेट हासिल नहीं कर सके थे. उनके अलावा टीम के अन्य तेज गेंदबाजों को सफलता मिली थी. लेकिन भारतीय गेंदबाज ने साफ किया है कि उन्होंने उस निराशाजनक प्रदर्शन के बाद अपनी तकनीक या गेंदबाजी में कोई बड़ा बदलाव नहीं किया. इसके बजाए उन्होंने मानसिकता में बदलाव किया और इसका फायदा ही उन्हें नॉटिंघम में मिला.
सिर्फ मानसिकता में बदलाव किया, गेंदबाजी में नहीं
बुमराह ने इंग्लैंड के खिलाफ पहली पारी में भारत की ओर से सबसे ज्यादा 4 विकेट हासिल किए थे. वहीं दूसरी पारी में एक बार फिर बुमराह ही भारतीय गेंदबाजी के स्टार साबित हुए. उन्होंने टेस्ट क्रिकेट में छठीं बार एक पारी में 5 विकेट लेने का कमाल किया. अपने इस प्रदर्शन के बारे में बात करते हुए भारतीय गेंदबाज ने कहा, "ईमानदारी से कहूं तो बहुत अधिक बदलाव नहीं करने पड़े केवल मानसिकता में थोड़ा बदलाव करना पड़ा. संभवत: यह परिणाम पर ध्यान न देकर वर्तमान में जीने, अपने कौशल पर भरोसा करने और क्रिकेट का लुत्फ उठाने से जुड़ा है."
बुमराह ने साथ ही कहा कि वह अपने खेल में हमेशा सुधार करना पसंद करते है, लेकिन उन्होंने ज्यादा बदलाव नहीं किए. स्टार पेसर ने कहा, "मैंने बहुत अधिक बदलाव नहीं किये और न ऐसा करना चाहता हूं. मैं हमेशा अपने खेल में सुधार करने की कोशिश करता रहा हूं और उसमें नयी चीजें जोड़ने का प्रयास करता हूं. इसके साथ उन चीजों को लेकर आगे बढ़ना चाहता हूं जो अभी मेरे पास हैं."
आखिरी दिन टीम इंडिया की रणनीति
इंग्लैंड ने मैच के चौथे दिन अपनी दूसरी पारी में 303 रन बनाए. वह भारत से पहली पारी में 95 रन से पिछड़ गया था और इस आधार पर भारत को जीत के लिए 209 रनों का लक्ष्य दिया. भारत ने एक विकेट खोकर 52 रन बना लिए थे और उसे जीत के लिए आखिरी दिन 157 रनों की जरूरत है. बुमराह ने टीम की रणनीति के बारे में बताते हुए कहा, "जब आप मैच खेलना शुरू करते हैं तो आपको स्वयं पर विश्वास होना चाहिए कि आप जीतना चाहते हैं और जीत के लिये खेलना चाहते हैं लेकिन हम बहुत आगे के बारे में नहीं सोचना चाहते. हमने अच्छी शुरुआत की है और सत्र दर सत्र आगे बढ़ना चाहते हैं."


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