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मनिका बत्रा को राष्ट्रीय शिविर में शामिल नहीं करने पर पनपे विवाद के बाद खेल मंत्रालय ने चयन में खामियों पर शिकंजा कसा
Kajal Dubey
6 Dec 2021 4:37 AM GMT
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टेबल टेनिस फेडरेशन ऑफ इंडिया की ओर से मनिका बत्रा को राष्ट्रीय शिविर में शामिल नहीं करने और टीम से बाहर किए जाने पर पनपे विवाद के बाद खेल मंत्रालय ने चयन में खामियों पर शिकंजा कस दिया है
टेबल टेनिस फेडरेशन ऑफ इंडिया की ओर से मनिका बत्रा को राष्ट्रीय शिविर में शामिल नहीं करने और टीम से बाहर किए जाने पर पनपे विवाद के बाद खेल मंत्रालय ने चयन में खामियों पर शिकंजा कस दिया है।
चयन नीति के आधार पर हर तिमाही जारी करनी होगी खिलाडिय़ों की राष्ट्रीय रैंकिंग
खेल मंत्रालय ने राष्ट्रीय खेल संघों को अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों के लिए न सिर्फ चयन नीति सार्वजनिक करने को कहा है बल्कि इस नीति पर आधारित हर तीन माह पर खिलाडिय़ों की राष्ट्रीय रैंकिंग जारी करने को भी कहा है। मंत्रालय ने चयन में पारदर्शिता और स्पष्टता के लिए इन कार्यों को पूरा करने के लिए समय सीमा निर्धारित कर दी है। कुछ खेल संघों को चयन नीति 31 दिसंबर तक सार्वजनिक करने को कहा गया है।
शिकंजे का कारण खिलाडिय़ों को नहीं जाना पड़े अदालत
राष्ट्रीय खेल संघों को अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों के लिए चयन नीति लागू करना काफी पहले से अनिवार्य है। बावजूद इसके कई खेल संघ बिना चयन नीति के ही चयन को अंजाम देते आ रहे हैं। जिसके चलते मनिका बत्रा को अदालत की शरण लेनी पड़ी, जिसमें खेल मंत्रालय को कूदना मंत्रालय के हलफनामे के बाद अदालत ने मनिका के पक्ष में फैसला सुनाया। निकट भविष्य में ऐसी स्थिति नहीं खड़ी हो और अंतरराष्ट्रीय खिलाडिय़ों को अदालत की शरण नहीं लेनी पड़े। इसी को ध्यान में रख मंत्रालय ने सभी खेल संघों से अपनी चयन नीति सार्वजनिक करने को कहा है। जिन खेल संघों ने चयन नीति तैयार नहीं की है।उन्हें कुछ समय देकर ऐसा करने को कहा गया है। नेशनल राइफल एसोसिएशन ऑफ इंडिया (एनआरएआई) समेत कुछ ही खेल संघ ऐसे हैं जिन्होंने अपनी चयन नीति को सार्वजनिक कर रखा है।
हर तीन माह पर अपडेट होगी रैंकिंग
यही नहीं चयन नीति सार्वजनिक करने के साथ ओलंपिक और अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों की तैयारियों को देखने वाली टारगेट ओलंपिक पोडियम स्कीम (टॉप्स) के सीईओ को देने को कहा गया है। राष्ट्रीय रैंकिंग को भी हर तीन माह पर अपडेट करना होगा।
Kajal Dubey
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