खेल

टोक्यो ओलंपिक में भारत के बेहतरीन प्रदर्शन के बाद देश की निगाहें पैरालंपिक पर टिकी

Admin4
16 Aug 2021 11:16 AM GMT
टोक्यो ओलंपिक में भारत के बेहतरीन प्रदर्शन के बाद देश की निगाहें पैरालंपिक पर टिकी
x
ओलंपिक में भारत के बेहतरीन प्रदर्शन के बाद देश की निगाहें पैरालंपिक पर टिकी हैं. जो टोक्यो में 24 अगस्त से शुरू हो रहा है.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क :- Tokyo Paralympics: ओलंपिक में भारत के बेहतरीन प्रदर्शन के बाद देश की निगाहें पैरालंपिक पर टिकी हैं. जो टोक्यो में 24 अगस्त से शुरू हो रहा है. इस बार सबसे अधिक चर्चा एक आईएएस अफ़सर की हो रही है. जो यूपी में गौतमबुद्ध नगर ज़िले के डीएम हैं. सुहास एल वाई बैडमिंटन के खिलाड़ी हैं. पिछली बार उन्होंने देश के लिए ब्रॉन्ज मेडल जीता था. तब वे प्रयागराज के कलेक्टर थे. क्या इस पैरालंपिक में वे देश के लिए सोना ला पायेंगे? डीएम की ज़िम्मेदारी संभालने के साथ साथ इन दिनों वे बैडमिंटन कोर्ट पर भी खूब पसीना बहा रहे हैं.

जोश, जज़्बा और जुनून. यही मूल मंत्र रहा है सुहास एल वाई का. जिनका पूरा नाम है सुहास लालिनाकेरे यथिराज. केरल के रहने वाले सुहास 2007 बैच के आईएएस अफ़सर हैं. पिछले साल कोरोना की दूसरी लहर में जब नोएडा में हालात बिगड़ने लगे तो उन्हें प्रयागराज से लाकर गौतमबुद्ध नगर का डीएम बनाया गया. उनके चार्ज संभालने के बाद धीरे धीरे हालत सुधरते गए.
उन्हीं दिनों लॉकडाउन के कारण हज़ारों गरीब और मज़दूर अपने घरों की तरफ़ चल पड़े थे. ग़ाज़ियाबाद और नोएडा में लोगों की भीड़ लग गई. इनमें से कई लोगों को उनके घर तक पहुंचाने का इंतज़ाम किया गया.
इन दिनों सुहास एल वाई का ज़िक्र पैरालंपिक में जाने को लेकर हो रहा है. शुरूआत में टीकाकरण को लेकर लोगों के मन में तरह तरह की आशंकाएं थीं. वैक्सीन का पहला डोज लेने के बाद सुहास बैडमिंटन की प्रैक्टिस करने लगे थे. उन्हें खेलते देख कर प्रशासन के लोगों के मन से टीकाकरण का डर दूर हुआ. सुहास पैरालंपिक में खेलने के लिए 27 अगस्त के टोक्यो के लिए रवाना होंगे.
इंटरनेशनल लेवल पर उन्होंने कई बार देश के लिए मेडल जीता है. 2016 में बीजिंग में एशियाई पैरालंपिक बैडमिंटन चैंपियनशिप जीतने वाले वे पहले प्रशासनिक अधिकारी बने थे. उन्होंने कहा कि इस उनका लक्ष्य गोल्ड जीतने का है.


Next Story