विज्ञान

क्या चूहों से फैला ओमिक्रॉन? रिपोर्ट में वैज्ञानिकों ने किया हैरान कर देने वाले दावे

Rani Sahu
29 Jan 2022 1:59 PM GMT
क्या चूहों से फैला ओमिक्रॉन? रिपोर्ट में वैज्ञानिकों ने किया हैरान कर देने वाले दावे
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कोरोना वायरस (Coronavirus) का ओमिक्रॉन वेरिएंट (Omicron Variant) दुनिया के कई देशों में कोविड-19 संक्रमण (Covid-19 Infection) का कारण बन गया है

नई दिल्ली: कोरोना वायरस (Coronavirus) का ओमिक्रॉन वेरिएंट (Omicron Variant) दुनिया के कई देशों में कोविड-19 संक्रमण (Covid-19 Infection) का कारण बन गया है. इस वेरिएंट ने पिछले अन्य वेरिएंट्स के मुकाबले पूरी दुनिया में लोगों को तेजी से संक्रमित किया है. जिसकी वजह से कोरोना के रिकॉर्ड मामले सामने आए हैं. हालांकि यह माना जा रहा है कि डेल्टा वेरिएंट (Delta Variant) की तुलना में ओमिकॉन कम घातक है लेकिन अति संक्रामक होने के कारण इस वेरिएंट ने स्वास्थ्य सेवाओं पर दबाव बढ़ा दिया है. क्योंकि संक्रमित होने पर मरीजों को चिकित्सीय देखभाल की जरूरत पड़ने लगी है.

इन सब के बीच अहम सवाल यह है कि कोविड-19 का ओमिक्रॉन वेरिएंट (B.1.1.529) की उत्पत्ति मूल रूप से कहां से हुई. अब तक ऐसा माना गया है कि इस वेरिएंट की पहचान पिछले साल नवंबर में साउथ अफ्रीका में हुई और वहीं से यहां वेरिएंट दुनियाभर में फैला. हालांकि इस अति संक्रामक वेरिएंट की उत्पत्ति को लेकर कई और मत भी हैं.
Nature की एक रिपोर्ट के अनुसार, जिसमें प्रसिद्ध वीरोलॉजिस्ट ने दावा किया है कि ओमिक्रॉन वेरिएंट के आनुवांशिक पूर्वज संभवतः 2020 के मध्य के हैं. इस वेरिएंट की उत्पत्ति को लेकर वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन की रिपोर्ट से पहले, एक और बात सामने आई है. वैज्ञानिकों ने SARS-CoV-2 के लाखों जिनोम की सिक्वेंसिंग की. इस दौरान इस वेरिएंट के प्रमुख कारण में शामिल म्यूटेशन की कुछ सीरिज छूट जाने की आशंका है. इस रिपोर्ट में कहा गया है कि चूहे या चूहे जैसे जीवों के कारण ओमिक्रॉन वेरिएंट उभर सकता है.
ध्यान देने योग्य बात यह है कि ओमिक्रॉन वेरिएंट के SARS-CoV-2 की तुलना में 50 म्यूटेशन हैं. इनमें से 30 म्यूटेशन कोविड-19 के स्पाइक प्रोटीन में मौजूद अमीनो एसिड में बदलाव से संबंधित हैं. इस रिपोर्ट में बताया गया है कि पिछले वेरिएंट में 10 से ज्यादा स्पाइस प्रोटीन मौजूद नहीं थे.
Nature की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि ओमिक्रॉन वेरिएंट 3 उप-वश BA.1, BA.2, BA.3 शामिल हैं. इनमें से BA.1 और BA.2 पहले से दुनियाभर में फैले हुए हैं. रिपोर्ट में कहा गया कि इसका मतलब यह है कि वैज्ञानिकों के नोटिस करने से पहले वेरिएंट में विविधता लाने का पर्याप्त समय था.
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने चेतावनी देते हुए कहा है कि मध्यम लक्षणों का कारण होने के बावजूद ओमिक्रॉन वेरिएंट चिंता का कारण है. क्योंकि जिन लोगों को अब तक कोरोना वैक्सीन नहीं मिली है वे इस वेरिएंट का शिकार होकर कम्युनिटी ट्रांसमिशन की वजह बन सकते हैं. हालांकि WHO ने यह भी कहा कि ओमिक्रॉन वेरिएंट कोविड-19 महामारी का आखिरी वेरिएंट होगा.
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