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जानें वैज्ञानिकों द्वारा ढूंढा गया NeoCov वायरस कितना है खतरनाक

Gulabi
28 Jan 2022 1:46 PM GMT
जानें वैज्ञानिकों द्वारा ढूंढा गया NeoCov वायरस कितना है खतरनाक
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विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि ‘NeoCov कोरोनावायरस इंसानों के लिए खतरा है
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कहा है कि 'NeoCov कोरोनावायरस (NeoCov coronavirus) इंसानों के लिए खतरा है', इस बात का पता लगाने के लिए अभी और स्टडी की जरूरत है. ये वायरस कथित तौर पर दक्षिण अफ्रीका (South Africa) में चमगादड़ों में पाया जाता है. WHO ने रूसी समाचार एजेंसी तास को बताया कि क्या स्टडी के दौरान पाया गया वायरस मनुष्यों के लिए एक जोखिम पैदा करेगा. इसके लिए आगे की स्टडी की जरूरत होगी. WHO वुहान (Wuhan) के वैज्ञानिकों की नई खोज से अवगत है और वह इस पर रिस्पांस देने के लिए विश्व पशु स्वास्थ्य संगठन, खाद्य और कृषि संगठन के संपर्क में है.
WHO ने कहा, 'जानवर, विशेष रूप से जंगली जानवर मनुष्यों में सभी उभरते संक्रामक रोगों के 75 फीसदी से अधिक का स्रोत हैं. इनमें से कई नोवल कोरोनावायरस की वजह बनते हैं. कोरोनावायरस अक्सर जानवरों में पाए जाते हैं, जिनमें चमगादड़ भी शामिल हैं. चमगादड़ों की पहचान वायरसों के भंडार के रूप में होती है.' दरअसल, चीनी रिसर्चर्स ने एक नए रिसर्च पेपर में इस नए वेरिएंट का उल्लेख किया है. हालांकि, अभी इस पेपर की समीक्षा किया जाना बाकी है. उन्होंने दावा किया कि इस वायरस की मृत्यु दर और तेजी से फैलने की दर अधिक है. ये SARS-CoV-2 नहीं बल्कि MERS कोरोनावायरस से जुड़ा है, जो 3 में से 1 संक्रमित व्यक्ति की जान ले सकता है.
क्या है MERS कोरोनावायरस?
MERS कोरोनावायरस 'मिडिल्स ईस्ट रेस्पिरेटरी सिंड्रोम कोरोनावायरस' है. यह एक जूनोटिक वायरस है जिसका मतलब है कि ये जानवरों और लोगों के बीच फैलता है. इस वायरस की सबसे पहले पहचान सऊदी अरब में 2012 में हुई थी. WHO के डाटा के मुताबिक, MERS कोरोनावायरस से संक्रमित लगभग 35 फीसदी मरीजों की मौत हो गई. MERS कोरोनावायरस के लक्षणों में बुखार, खांसी और सांस की तकलीफ शामिल हैं. इसके अलावा, निमोनिया, पेट संबंधी समस्या, जिसमें दस्त भी शामिल है, को भी MERS के लक्षण के तौर पर माना जाता है. MERS-CoV संक्रमण के अधिकांश इंसानों के संक्रमित होने के केस मानव से मानव संक्रमण की वजह से सामने आते हैं.
इस कोरोनावायरस वेरिएंट की पहचान ऐसे समय पर हुई है, जब दुनियाभर पहले से ही खतरनाक ओमिक्रॉन वेरिएंट (Omicron Variant) से जूझ रही है. इस वेरिएंट से बचने के लिए फिलहाल दुनियाभर में तेजी से वैक्सीनेशन किया जा रहा है. भारत में भी ओमिक्रॉन के केस में इजाफा हो रहा है. इस वजह से भारत में भी तेजी से लोगों को वैक्सीनेशन किया जा रहा है. दिसंबर 2019 में पहली बार कोरोना के सामने आने के बाद से इसके कई सारे वेरिएंट सामने आ चुके हैं.
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