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कोरोना वायरस की दूसरी लहर कहर बनकर टूट पड़ी है।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | कोरोना वायरस की दूसरी लहर कहर बनकर टूट पड़ी है। हर तरफ डर और दहशत का माहौल छाया हुआ है। कई प्रकार की रिसर्च और खबरें सामने आ रही हैं। इस बीच डॉक्टरों की ओर से एक चेतावनी जारी की जा रही है कि कोरोना वायरस की दूसरी लहर युवाओं के लिए अधिक घातक है। इससे युवाओं में हृदय रोग का खतरा बढ़ रहा है।
प्रसिद्ध हृदय रोग विशेषज्ञ डॉक्टर नरेश त्रेहान ने हिन्दुस्तान को दिए गए अपने एक विशेष साक्षात्कार में कहा कि वैसे तो कोरोना वायरस की दूसरी लहर तीव्र गति से हर उम्र के लोगों को संक्रमित कर रही है लेकिन जहां तक हमारा मानना है तो यह वायरस इस बार बड़ी संख्या में युवाओं को प्रभावित कर रही है। इसके साथ ही उन्होंने अपने वक्तव्य में उन युवाओं का विशेष उल्लेख किया जिन्हें पहले से हृदय रोग या कोई अन्य बीमारी नहीं है।
आगे इस हृदय रोग विशेषज्ञ ने कहा कि इस बार कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों में से कम से कम 15 से 20 प्रतिशत लोग ऐसे हैं जिनके हृदय को वायरस तेजी से प्रभावित कर रहा है। जिन लोगों में पहले से ही हृदय से संबंधित बीमारी है उनके लिए तो यह खतरनाक है ही साथ ही जो पहले से इससे पीड़ित नहीं हैं उनके लिए भी यह चिंताजनक बात है। डॉक्टर ने कहा कि कोरोना से पीड़ित ज्यादातर मामलों में मरीजों को सीने में दर्द की शिकायत होती है। उन्हें बचाया जा सकता है लेकिन कुछ मामलों में यह इतना तीव्र होता है कि उन्हें बचाया नहीं जा सकता है।
डॉक्टर त्रेहान ने कहा कि पिछली बार यानि पहली लहर के समय यह वृद्ध लोगों को या उन युवा लोगों को ज्यादा प्रभावित कर रहा था जिन्हें पहले से ही हृदय रोग की समस्या थी। लेकिन इस बार ऐसा नहीं है। डॉक्टर ने कहा कि इस बार यह वायरल तरंग पहले वाले से अलग है। इस बार यह 33 साल से कम उम्र के उन लोगों को अधिक प्रभावित कर रही है जो पहले से हृदय रोग से पीड़ित नहीं हैं। इसलिए उन्होंने युवाओं को चेतावनी देते हुए कहा कि इस महामारी के दौरान युवा लोगों को भी वही सावधानी बरतनी चाहिए जो वृद्ध और रोगी लोगों के लिए जरूरी है।
इसके साथ ही डॉक्टर त्रेहान ने इससे बचाव को लेकर भी खुलकर बात की। इसके लिए उन्होंने व्यायाम, योग और रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने आदि पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि इससे बचाव के लिए युवाओं को ज्यादा घबराने की जरूरत नहीं है। वह सावधानी के साथ साथ व्यायाम, योग और पौष्टिक आहार का सेवन कर इसे मात दे सकते हैं।
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