विज्ञान

मंकीपॉक्स के पाए जा चुके हैं 16 हजार केस, अकेल यूरोप में मंकीपॉक्स के 80 फीसदी मामले

Tulsi Rao
24 July 2022 3:43 AM GMT
मंकीपॉक्स के पाए जा चुके हैं 16 हजार केस, अकेल यूरोप में मंकीपॉक्स के 80 फीसदी मामले
x

जनता से रिश्ता वेबडेस्कजनता से रिश्ता वेबडेस्क।मंकीपॉक्स (Monkeypox) को लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन (World Health Organization) ने ग्लोबल हेल्थ इमरजेंसी (Global Health Emergency) घोषित कर दी है. मंकीपॉक्स दुनिया के 75 देशों में फैल चुका है, अब तक 16 हजार केस पाए जा चुके हैं और 5 लोगों की इससे मौत हो गई है. विश्व स्वास्थ्य संगठन के डायरेक्टर डॉक्टर टैड्रॉयड अब्राहम ने तेजी से बढ़ते हुए मामलों को देखते हुए मंकीपॉक्स को वैश्विक इमरजेंसी घोषित कर दिया है. ऐसा करने की बड़ी वजह है कि जून के आखिर से लेकर जुलाई तक यह बीमारी 77 फीसदी ज्यादा फैल गई और यह बीमारी उन देशों में भी फैली जहां पहले इसका कोई भी केस नहीं मिला था. यह बीमारी सबसे ज्यादा यूरोप और उत्तरी अमेरिका में फैली है. अकेले यूरोप में मंकीपॉक्स के 80 फीसदी मामले हैं. इस बीच, ये जानना जरूरी हो गया है कि मंकीपॉक्स के लक्षण क्या हैं और यह कैसे फैलता है.

मंकीपॉक्स के लक्षण
अमेरिका की स्वास्थ्य सुरक्षा एजेंसी सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) का कहना है कि पिंपल या छाले जैसे घाव और फ्लू जैसे लक्षण पैदा करने वाली बीमारी मंकीपॉक्स संपर्क में आने से फैल सकती है. यह घावों के साथ सीधे शारीरिक संपर्क में आने और श्वसन स्राव से फैल सकता है.
कैसे फैलता है मंकीपॉक्स?
गौरतलब है कि मंकीपॉक्स घावों या तरल पदार्थों से संक्रमित चीजों को छूने से भी फैलता है. इसके अलावा मंकीपॉक्स, प्लेसेंटा के माध्यम से भ्रूण में भी जा सकता है. लोगों को संक्रमित जानवरों के संपर्क में आने से भी मंकीपॉक्स हो सकता है. संक्रमित जानवर के खरोंचने, काटने या उसका मांस खाने से भी मंकीपॉक्स हो सकता है.
इन देशों में मिले मंकीपॉक्स के केस
जान लें कि उत्तरी अमेरिका के 44 राज्यों में कुल मिलाकर अब तक मंकीपॉक्स के 2,500 केस आ चुके हैं. इन दोनों ही जगहों पर मंकीपॉक्स पहले कभी नहीं फैला. भारत में भी अब तक मंकीपॉक्स के 3 केस दर्ज हो चुके हैं. भारत में यह सभी केस केरल में दर्ज हुए हैं. मंकीपॉक्स को ग्लोबल हेल्थ एमरजैंसी घोषित करने के पीछे डब्ल्यूएचओ ने सबसे बड़ी वजह यह बताई कि अब इस बीमारी के तेजी से फैलने का खतरा बढ़ गया है इसलिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मिलकर मंकीपॉक्स से लड़ाई लड़ने की जरूरत है. इससे पहले विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जनवरी 2020 में कोरोना वायरस को ग्लोबल हेल्थ एमरजैंसी घोषित किया था.


Next Story