धर्म-अध्यात्म

क्यों कहा जाता है हनुमान जी को बजरंगबली, जानें इसकी पौराणिक कथा

Tara Tandi
16 Aug 2021 7:54 AM GMT
क्यों कहा जाता है हनुमान जी को बजरंगबली, जानें इसकी पौराणिक कथा
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मंगलवार का दिन हनुमान जी को समर्पित होसता है

जनता से रिश्ता वेबडेस्क| मंगलवार का दिन हनुमान जी को समर्पित होसता है. इस दिन हनुमानजी की पूजा करने से आपकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं. कई लोग हनुमानजी को प्रसन्न करने के लिए व्रत रखते हैं. इसके अलावा ज्योतिष शास्त्रों में विशेष उपायों के बार में बताया गया है. इन उपयों को करने से कुंडली में मंगल दोष का प्रभाव कम हो जाता है. हनुमान जी को संकंटमोचन के नाम से भी जाना जाता है. क्योंकि वे अपने भक्तों के दुखों को हमेशा दूर करते हैं. बल और बुद्धि के देवता हनुमान जी को बजरंगबली भी कहा जाता है. लेकिन क्या आप जानते हैं इसके पीछे की पौराणिक कथा के बारे में

हनुमान जी को बजरंगबली कहा जाता है. इस पीछे दो मान्यताएं हैं. पहली मान्यता के मुताबिक बजरंगबली बहुत शक्तिशाली है. उनक शरीर व्रज के समान है इसलिए उन्हें बजरंगबली कहते हैं. दूसरी मान्यता के अनुसार, हनुमान जी ने श्री राम को प्रसन्न रहने के लिए शरीर में सिंदूर लगाया था जिस कारण उनका नाम बजरंगबली पड़ा था. आइए जानते हैं इस मान्यता से जुड़ी पौराणिक कथा के बारे में.

एक बार माता सीता सिंदूर लगा रही थीं. तभी हनुमानजी ने पूछा कि माता आप अपनी मांग में सिंदूर क्यों लगाती हैं? इसका जवाब देते हुए माता सीता कहती हैं कि वे अपने पति श्री राम की लंबी उम्र और अच्छे स्वास्थ्य के लिए लगाती हैं. शास्त्रों में भी सिंदूर के महत्व के बारे में बताया गया है. हिंदू धर्म के अनुसार जो सुहागिन महिला मांग में सिंदूर लगाती हैं उसके पति की उम्र लंबी होती हैं और स्वास्थ्य भी सही रहता है.

माता सीता की बात सुनकर बजरंगबली सोचते हैं कि सिंदूर लगाने से इतना लाभ मिलता है तो वे पूरे शरीर में सिंदूर लगाएंगे. इससे प्रभु राम अमर हो जाएंगे. ये बात सोचकर हनुमान जी पूरे शरीर में सिंदूर लगा लेते हैं. जब प्रभु राम हनुमान जी को देखते हैं तो उनकी भक्ति से बहुत प्रसन्न होते हैं. प्रभु राम कहते हैं कि आपको बजरंगबली के नाम से जाना जाएगा. बजरंगबली में बजरंग का अर्थ केसरी से है और बली का अर्थ शक्तिशाली से है.

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