धर्म-अध्यात्म

कब से शुरू हो रही है गुप्त नवरात्रि, जानें

Subhi
25 Jan 2022 2:00 AM GMT
कब से शुरू हो रही है गुप्त नवरात्रि, जानें
x
हिंदी पंचांग के अनुसार, हर वर्ष चार नवरात्रि मनाई जाती है। प्रथम माघ महीने में मनाई जाती है, जिसे गुप्त नवरात्रि कहा जाता है। दूसरी चैत्र महीने में मनाई जाती है, जिसे चैत्र नवरात्रि कहा जाता है।

हिंदी पंचांग के अनुसार, हर वर्ष चार नवरात्रि मनाई जाती है। प्रथम माघ महीने में मनाई जाती है, जिसे गुप्त नवरात्रि कहा जाता है। दूसरी चैत्र महीने में मनाई जाती है, जिसे चैत्र नवरात्रि कहा जाता है। तीसरी आषाढ़ महीने में मनाई जाती है, जिसे गुप्त नवरात्रि ही कहा जाता है । वहीं, चौथी और अंतिम अश्विन महीने में मनाई जाती है, जिसे अश्विन नवरात्रि कहा जाता है। इस साल माघ माह में पड़ने वाली गुप्त नवरात्रि 2 फरवरी को शुरु होकर 10 फरवरी को समाप्त होगी। गुप्त नवरात्रि में दस महाविद्याओं की देवी की पूजा-उपासना की जाती है। इन दोनों नवरात्रि में तंत्र जादू-टोना सीखने वाले साधक कठिन भक्ति कर माता को प्रसन्न करते हैं। 2 फरवरी को घटस्थापना है। आइए, गुप्त नवरात्रि के बारे में विस्तार से जानते हैं-

मां दुर्गा के नौ रूप शैल पुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कूष्माण्डा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी, सिद्धिदात्री माता हैं, जिनकी नवरात्रि में पूजा की जाती है। गुप्त नवरात्रि में दस महाविद्या देवियां तारा, त्रिपुर सुंदरी, भुनेश्वरी, छिन्नमस्ता, काली, त्रिपुर भैरवी, धूमावती, बगलामुखी हैं, जिनकी गुप्त नवरात्रि में गुप्त तरीके से पूजा-उपासना की जाती है।

गुप्त नवरात्रि का महत्व

यह नवरात्रि तंत्र साधना, जादू-टोना, वशीकरण आदि चीज़ों के लिए विशेष महत्व रखता है। गुप्त नवरात्रि के नौ दिनों तक साधक मां दुर्गा की कठिन भक्ति और तपस्या करते हैं। खासकर निशा पूजा की रात्रि में तंत्र सिद्धि की जाती है। इस भक्ति और सेवा से मां प्रसन्न होकर साधकों को दुर्लभ और अतुल्य शक्ति देती हैं। साथ ही सभी मनोरथ सिद्ध करती हैं।

गुप्त नवरात्रि में क्या करें

- नौ दिनों तक ब्रह्मचर्य नियम का पालन करें।

-तामसिक भोजन का परित्याग करें।

-कुश की चटाई पर शैया करें।

-पीले या लाल वस्त्र धारण करें।

-निर्जला अथवा फलाहार उपवास रखें।

-मां की पूजा-उपासना करें।

-लहसुन-प्याज का सेवन न करें।

-माता-पिता की सेवा और आदर सत्कार करें।



Next Story