धर्म-अध्यात्म

सुहाग के साथ धन-संपत्ति भी देता है वट सावित्री व्रत, जानें पूजा मुहूर्त और विधि

Tulsi Rao
13 Jun 2022 4:17 AM GMT
सुहाग के साथ धन-संपत्ति भी देता है वट सावित्री व्रत, जानें पूजा मुहूर्त और विधि
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जनता से रिश्ता वेबडेस्क। Vat Purnima Vrat 2022 Shubh Muhurat Puja Vidhi: वट पूर्णिमा व्रत इस साल 14 जून 2022, मंगलवार को रखा जाएगा. इस दिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए बरगद के पेड़ की पूजा करती हैं. बरगद के पेड़ में त्रिदेव यानी कि ब्रह्मा, विष्‍णु, महेश का वास होता है. साथ ही बरगद के पेड़ की पूजा करने से मां लक्ष्‍मी भी प्रसन्‍न होती हैं इसलिए हिंदू धर्म में बरगद के पेड़ को बहुत महत्‍वपूर्ण माना गया है. उत्‍तर भारत में इसे वट सावित्री व्रत और दक्षिण भारत में इसे वट पूर्णिमा व्रत कहते हैं.

सुहाग के साथ धन-संपत्ति भी देता है वट सावित्री व्रत
वट सावित्री व्रत के दिन बरगद के पेड़ की पूजा करना अखंड सुहाग के साथ-साथ जीवन में अपार सुख-संपत्ति भी देता है. इसलिए वट सावित्री व्रत रखना और इस दिन विधि-विधान से पूजा करना बहुत शुभ फल देता है. मान्‍यता है कि जिस तरह बरगद के पेड़ की आयु बहुत लंबी होती है, वैसे ही पति की उम्र भी लंबी हो.
वट पूर्णिमा व्रत तिथि और पूजा मुहूर्त (Vat Purnima Vrat 2022 puja muhurt)
वट पूर्णिमा व्रत 14 जून को रखा जाएगा. पूर्णिमा तिथि 13 जून, सोमवार की रात 09:02 से शुरू होगी और 14 जून की शाम 05:21 बजे तक रहेगी. इस दौरान पूजा करने का शुभ मुहूर्त 14 जून की सुबह 11 बजे से 12:15 बजे तक रहेगा. वट पूर्णिमा के दिन साध्‍य योग और शुभ योग भी बन रहा है.
वट पूर्णिमा व्रत पूजा विधि
वट पूर्णिमा का व्रत रखने वाली महिलाएं सुबह जल्‍दी स्‍नान करके लाल रंग या किसी शुभ रंग के कपड़े पहनें. वट वृक्ष के नीचे सावित्री और सत्यवान तथा यम की मिट्टी की मूर्तियां स्थापित करें. वट वृक्ष की जड़ में जल अर्पित करें. फिर मौली, रोली, कच्चा सूत, भीगे चने, फूल आदि से पूजा करें. इसके बाद वट वृक्ष के चारों और कच्‍चा सूत लपेटकर 3 परिक्रमा करें. इस दिन सत्यवान सावित्री की कथा जरूर सुनना चाहिए.


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