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धनवान बनाता है ये पौधा, दशहरे के दिन लगाएं शनि की साढ़े साती भी होगी खत्म
दशहरा बुराई पर अच्छाई की जीत का पर्व माना जाता है. इस दिन भगवान राम ने रावण का वध किया था. देश में हर त्योहार को मनाने का अलग-अलग तरीका होता है. दशहरे के दिन भारत के कुछ क्षेत्रों में शमी वृक्ष की पूजा की जाती है हालांकि, खासकर क्षत्रियों में इस पूजन का ज्यादा महत्व है. पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक, महाभारत के युद्ध में पांडवों ने इसी वृक्ष के ऊपर अपने हथियार छुपाए थे और बाद में उन्होंने कौरवों से जीत प्राप्त की थी. कहा जाता है कि शमी के पौधे की नियमित पूजा करने से परिवार में सुख-शांति आती है. ज्योतिषशास्त्र के मुताबिक, ये पौधा आने वाली कृषि विपदाओं का पहले से ही संकेत दे देता है.
पैसों की तंगी होगी दूर
शमी के पौधे से पैसे की तंगी दूर होती है. यह पौधा आपके घर की कलह को भी खत्म कर सकता है और मान्यता है कि इस पौधे को लगाने से शनि साढ़े साती (Sade Sati) और ढैय्या के बुरे असर से बचा जा सकता है. इसके अलावा विवाह संबंधी दिक्कते दूर करने में भी यह पौधा कारगर माना जाता है.
शमी का वृक्ष कई दोषों का निवारण करता है
शमी के वृक्ष पर कई देवताओं का वास होता है. सभी यज्ञों में शमी वृक्ष को शुभ माना गया है. शमी के कांटों का प्रयोग तंत्र-मंत्र बाधा और नकारात्मक शक्तियों के नाश के लिए होता है. शमी के पंचांग, यानी फूल, पत्ते, जड़ें, टहनियां और रस का इस्तेमाल कर शनि संबंधी दोषों से जल्द मुक्ति पाई जा सकती है. शमी का वृक्ष घर के ईशान कोण (पूर्वोत्तर) में लगाना लाभकारी माना गया है. इसमें प्राकृतिक तौर पर अग्नि तत्व पाया जाता है.
ऐसे करें पौधे की पूजा
दशहरे के दिन भगवान श्रीराम और देवी की पूजा के बाद शमी के पेड़ की जड़ में जल अर्पित करें. इसके बाद लाल कलर के फूल और फल अर्पित करें. फिर घी या तिल के दीया जलाएं और ध्यान रहे इसकी बाती मौली की रखें. इसके बाद चंदन और कुमकुम लगाने के बाद धूप-अगरबत्ती लगाएं. हाथ जोड़ कर शमी पौधे के सामने अपनी व्यथा कहें और उससे छुटकारे की प्रार्थना करें.
शमी पौधे के नियम
आपको बता दें कि ये पौधा शनिदेव का पौधा माना जाता है इसलिए घर में लगे हुए शमी के पौधे के नीचे हर शनिवार को दीपक जलाया जाना चाहिए. इस पौधे को शनिवार के दिन या विजयदशमी के दिन घर पर लगाया जाना चाहिए. ऐसा माना जाता है कि इस पौधे की नियमित तौर पर करने से हर तरह की पीड़ा का नाश होता है. इस पौधे को लेकर कुछ नियम भी है, जैसे शमी के पौधे को बिना नहाए हुए स्पर्श न करें और रात के समय इसके स्पर्श से बचें. यदि आप अच्छे काम के लिए घर से जाते समय इस पौधे का दर्शन करें तो फायदा मिलता है. इस पौधे को नियमित रूप से जल अर्पित किया जाना चाहिए