धर्म-अध्यात्म

इस दिन है सफला एकादशी व्रत, इस दिन भूलकर भी न करें ये काम

Subhi
28 Dec 2021 2:42 AM GMT
इस दिन है सफला एकादशी व्रत, इस दिन भूलकर भी न करें ये काम
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30 दिसंबर को सफला एकादशी है। इस दिन जगत के पालनहार भगवान श्रीहरि विष्णु की पूजा-आराधना की जाती है। ऐसी मान्यता है कि जो व्यक्ति सच्ची श्रद्धा से एकादशी नियमों का पालन कर भगवान विष्णु जी के निमित्त व्रत उपवास करता है।

30 दिसंबर को सफला एकादशी है। इस दिन जगत के पालनहार भगवान श्रीहरि विष्णु की पूजा-आराधना की जाती है। ऐसी मान्यता है कि जो व्यक्ति सच्ची श्रद्धा से एकादशी नियमों का पालन कर भगवान विष्णु जी के निमित्त व्रत उपवास करता है। उसकी सभी मनोकामनाएं भगवान की कृपा से शीघ्र पूर्ण होती हैं। वैष्णव संप्रदाय के लोग एकादशी पर्व को उत्स्व की तरह मनाते हैं। सनातन धर्म में दो पंथ के लोग हैं। प्रथम पंथ में शैव यानी शिवजी को मानने वाले अनुयायी हैं। वहीं, वैष्णव पंथ में भगवान विष्णुजी को मानने वाले अनुयायी हैं। एकादशी व्रत को करने के कई कठोर नियम भी हैं। इन नियमों का पालन करना अनिवार्य है। अगर आपको नहीं पता है, तो आइए जानते हैं कि सफला एकादशी के दिन क्या न करें-

सफला एकादशी के दिन क्या न करें
-तामसिक भोजन का त्याग करें। अगर व्रत कर रहे हैं, तो इस बात का ख्याल रखें कि तामसिक चीजों का सेवन बिल्कुल न करें। वहीं, व्रत नहीं करने पर भी मास मदिरा का सेवन न करें। दैविक काल में मदिरा को सोमरस कहा जाता था। अत: सफला एकादशी के दिन सोमरस का बिल्कुल सेवन न करें।
-ब्रह्मचर्य नियम का पालन करें। एकादशी के दिन मन में किसी प्रकार का कोई पाप न रखें। निर्मल भाव से भगवान श्रीहरि विष्णु का ध्यान और सुमरन कर दिन व्यतीत करें।
-ज्योतिषों की मानें तो एकादशी के दिन वाद-विवाद बिल्कुल न करें। इससे भगवान श्रीहरि विष्णु एवं माता लक्ष्मी अप्रसन्न होती हैं। इसके लिए एकादशी के दिन किसी से कहासुनी न करें।
-एकादशी के दिन तुलसी दल न तोड़ें। भगवान श्रीहरि विष्णु को तुलसी अति प्रिय है। अत: एकादशी के दिन तुलसी दल यानी तुलसी के पत्ते न तोड़ें।
-एकादशी के दिन किसी का दिल न दुखाएं। शास्त्रों में निहित है कि अगर कोई व्यक्ति बेवजह किसी का दिल दुखाता है, तो उसे पाप का प्रायश्चिच भोगना पड़ता है।cember 2021 जानें आज का राशिफल, पंचांग, राहु काल, दिशा शूल
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