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धर्म-अध्यात्म
शीतला अष्टमी के दिन कुछ विशेष उपाय करने से दूर हो सकती हैं परेशानियां
Tara Tandi
1 April 2021 12:18 PM GMT
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हर साल चैत्र के महीने की कृष्ण पक्ष की अष्टमी को शीतला अष्टमी मनाई जाती है. इसे बसौड़ा अष्टमी भी कहा जाता है.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क| हर साल चैत्र के महीने की कृष्ण पक्ष की अष्टमी को शीतला अष्टमी मनाई जाती है. इसे बसौड़ा अष्टमी भी कहा जाता है. शीतला अष्टमी होली के आठवें दिन होती है. इस दिन माता शीतला की पूजा होती है और उन्हें बासे खाने का भोग लगाया जाता है. इस बार शीतला अष्टमी 4 अप्रैल को मनाई जाएगी.
मान्यता है कि शीतला अष्टमी के दिन व्रत रखने व विधि विधान से माता का पूजन करने से आर्थिक संकट दूर होते हैं. इसके अलावा परिवार के सदस्यों व बच्चों का चेचक, खसरा, आंखों के रोग और मौसमी समस्याओं से बचाव होता है. ये भी कहा जाता है कि शीतला अष्टमी के दिन कुछ विशेष उपाय करने से तमाम तरह की परेशानियां दूर हो सकती हैं. जानिए उन उपायों के बारे में.
नकारात्मक विचारों से मुक्ति के लि
अगर आपके दिमाग में अक्सर नकारात्मक विचार घूमते रहते हैं. आपको शीतला अष्टमी के दिन मातारानी की पूजा के बाद नीम के पेड़ की पूजा करनी चाहिए. नीम के पेड़ में जल देने के बाद सात बार परिक्रमा करें. इससे अंदर की नकारात्मक ऊर्जा खत्म होती है.
बीमारियों से बचाव के लिए
पूजा के दौरान मां शीतला को हल्दी भी अर्पित करें. पूजा के बाद ये हल्दी परिवार के सदस्यों को लगाएं. खासकर बच्चों को जरूर लगाएं. ऐसा करने से परिवार के सदस्यों और बच्चों की मौसमी रोगों के अलावा अन्य गंभीर बीमारियों से भी रक्षा होती है.
घर में सकारात्मकता लाने के लिए
अष्टमी वाले दिन माता शीतला पूजा करते समय उन्हें जल भी अर्पित करें. इसके बाद वो जल घर में लाएं और मुख्य द्वार के अलावा घर की सभी दिशाओं में छिड़कें. इससे घर की नकारात्मकता दूर होगी और सकारात्मक माहौल बनेगा.
परिवार में खुशहाली के लिए
माता शीतला का वाहन गधा है. इस दिन गधे की सेवा जरूर करें. इसके अलावा माता का प्रसाद किसी कुम्हारनी को दें. ऐसा करने से आपकी पूजा सफल हो जाती है. इससे माता प्रसन्न होती हैं और उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है व परिवार के संकट दूर होते हैं.
संपन्नता के लिए
मां शीतला की पूजा के बाद गाय माता का पूजन करें. हिंदू धर्म में मान्यता है कि गाय में तैंतीस कोटि देवताओं का वास होता है. गाय की सेवा करने से सभी देवी-देवता प्रसन्न होते हैं और परिवार में सुख समृद्धि और संपन्नता आती है.
Tara Tandi
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