- Home
- /
- अन्य खबरें
- /
- धर्म-अध्यात्म
- /
- भगवान कृष्ण ने बताया...
भगवान कृष्ण ने बताया कि किस तरह इंसान दुखों को खत्म कर पा सकता है खुश
जनता से रिश्ता वेबडेस्क: मनुष्य के अंदर दुख, शोक, चिंता, भय या व्याकुलता आने के मुख्य रूप से दो ही कारण होते हैं। पहला, प्रिय या इच्छित वस्तु, परिस्थिति या व्यक्ति का वियोग हो जाना और दूसरा, अप्रिय या अनिष्ट वस्तु, परिस्थिति का संयोग या प्राप्ति का हो जाना। इन दोनों परिस्थितियों में कुछ व्यक्ति बहुत अधिक दुखी या व्याकुल हो जाते हैं और मानसिक तनाव के कारण बीमार हो जाते हैं। परंतु कुछ व्यक्ति विपरीत या प्रतिकूल परिस्थिति में कम प्रभावित होते हैं या उससे जल्दी बाहर निकल कर अपने दैनिक क्रियाकलापों में व्यस्त हो जाते हैं। वे जानते हैं कि अनुकूल-प्रतिकूल परिस्थितियां तो सभी के जीवन में आती-जाती रहती हैं। हमेशा एक सी ही स्थिति नहीं रहती क्योंकि प्रकृति में भी लगातार परिवर्तन होता रहता है। इन दोनों प्रकार के व्यक्तियों के अलावा कुछ लोग ऐसे भी होते हैं जो काल्पनिक स्थिति का विचार करते रहने के कारण भयभीत या व्याकुल रहते हैं, जैसे, कहीं मुझे कोविड या दूसरी कोई बड़ी बीमारी न हो जाए। उस समय मेरा या मेरे परिवार का क्या होगा। या यदि उनके परिवार का कोई व्यक्ति गाड़ी से घर से बाहर गया है, तब वे यह सोच कर व्याकुल होते रहते हैं कि कहीं रास्ते में कुछ हो न जाए।