धर्म-अध्यात्म

ज्योतिषाचार्य से जानें संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी व्रत के दिन क्या करें

Bharti sahu
20 Jan 2022 4:14 PM GMT
ज्योतिषाचार्य से जानें संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी व्रत के दिन क्या करें
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महर्षि पाराशर ज्योतिष संस्थान के ज्योतिषाचार्य पं. राकेश पाण्डेय ने बताया कि माघ कृष्ण चतुर्थ्यां तु प्रादुर्भूतो गणाधिप

महर्षि पाराशर ज्योतिष संस्थान के ज्योतिषाचार्य पं. राकेश पाण्डेय ने बताया कि माघ कृष्ण चतुर्थ्यां तु प्रादुर्भूतो गणाधिप:। यह व्रत माघ कृष्ण पक्ष चतुर्थी को मनाया जाता है। इस बार संकष्टी गणेश चतुर्थी के दिन शुक्रवार मघा नक्षत्र दिन 8.42 बजे के बाद पूर्वा फाल्गुनी नक्षत्र भोग करेगी। शोभन योग मिल रहा है। अतः यह व्रत सर्व मंगलकारी है। इस दिन बुद्धि- विद्या वारिधि गणेश तथा चन्द्रमा की पूजा करनी चाहिए। दिन भर व्रत रहने के बाद सायं काल चन्द्र दर्शन होने पर दूध का अर्घ्य देकर चन्द्रमा की विधिवत पूजा करनी चाहिए।

गौरी - गणेश की स्थापना कर पूजन करके तथा वर्ष भर उन्हें घर में रखा जाता है। नैवेद्य सामग्री, तिल, ईख, गंजी, अमरूद, गुड़ व घी से चन्दमा एवं गणेश जी को भोग लगाना चाहिए। यह नैवेद्य रात्रि भर डलिया आदि से ढंककर यथावत रख दिया जाता है, जिसे पहार कहते है। पुत्रवती मातायें पुत्र तथा पति की सुख व समृद्धि के लिए व्रत रहती हैं। सबसे बड़ी विशेषता यह है कि उस ढंके हुए पहार को पुत्र ही खोलता है तथा भाई-बन्धुओं में वितरित करने का विधान है, जिससे आपस में प्रेम भावना स्थापित होती है।


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