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अब नए साल 2022 को आने में अब कुछ घंटे ही बचे हैं. ऐसे में हर साल की तरह से इस बार भी लोगों को आने वाले नए साल से काफी उम्मीदे हैं.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | अब नए साल 2022 को आने में अब कुछ घंटे ही बचे हैं. ऐसे में हर साल की तरह से इस बार भी लोगों को आने वाले नए साल से काफी उम्मीदे हैं. हर किसी को नए साल से सफलता और खुशियों का कामना है. इस अंग्रेजी नए साल में कुछ राशियों में भी परिवर्तन हो रहा है, जो कुछ जातकों के लिए काफी शुभ होने वाला है. वैसे बता दें कि 2022 की शुरुआत शनिवार से होने वाली है. ऐसे में ज्योतिष के मुताबिक नव वर्ष में शनि का राशि परिवर्तन भी होगा.
अब जब नए साल में शनि का राशि परिवर्तन होगा तो, इसका असर हर राशियों पर होता है. ऐसे में अगर आप भी शनि के प्रकोप से बचने और शनि दोष से मुक्ति पाने पाना चाहते हैं, तो एक जनवरी बेदह खास होने वाली है. जी हां ज्योतिष शास्त्र की मानें तो आने वाली 2022 के राजा शनिदेव ही रहेंगे. जो भी लोग अपने जीवन के शनि दोष से छुटकारा पाना चाहते हैं उनके लिए नए साल का पहला ही दिन बेहद महत्वपूर्ण होने वाला है.ऐसे में 1 जनवरी को शनि को प्रसन्न करने के लिए खास उपाए करने चाहिए.
नए साल में ऐसे करें शनि देव को प्रसन्न
शिव जी करें पूजा
2022 के पहले दिन य़ानी कि 1 जनवरी को सुबह स्नान करके साफ वस्त्र धारण करें और फिर घर के पूजा घर में भगवान के सामने दीया जलाएं. फिर सबसे पहले भगवान गणेश की निष्ठा के साथ पूजा करें. इसके बाद शिव का मन्न करते हुए 'ओम् नमः शिवाय' का 108 बार जाप करें. अगर इस दिन मंदिर जा सकते हैं, तो जाएं और शिवलिंग को जल अर्पित करें. अगर आप मंदिर जाकर शिवलिंग को जल अर्पित कर रहे हैं तो महामृत्युंजय मंत्र-'ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम् उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्' का करीब 11 बार जाप करें.
मंत्र का करें जप
1 जनवरी के दिन आप शनि को प्रसन्न करने के लिए आप पूजा घर में सरसों के तेल का दीया जलाएं. इसके बाद फिर सुबह नहाकर काले तिल, काली उड़द, काला छाता और लोहे आदि का दान करें. शाम के समय किसी शनि मंदिर में 'ओम शं शनैश्चराय नम:' का जाप करें.
हनुमान जी को करें याद
एक जनवरी 2022 को शनिवार है तो इस दिन सबसे पहले सुबह स्नान के बाद तेल का दान करें. एक कटोरी में तेल लें फिर उसमें अपना चेहरा देखें. इसके बाद इस तेल को किसी जरूरतमंद इंसान को दान करें.इतना ही नहीं इस दिन हनुमानजी को सिंदूर और चमेली का तेल अर्पित करें और पूरी श्रद्धा से हनुमान जी के आगे बैठकर चालीसा का पाठ करें. इससे भी शनि देव प्रसन्न होते हैं.
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