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- घर में कबूतर का घोंसला...
हिंदू धर्म और वास्तु शास्त्रों में कई चीजों को लेकर शुभ या अशुभ माना जाता है। यह परंपराएं सदियों से ऐसे ही चली आ रही है। ऐसी ही कुछ मान्यताएं पशु-पक्षी को लेकर है। इन्हीं में से एक है कबूतर। सुख और शांति का प्रतीक माना जाने वाला कबूतर को लेकर लोगों के मन में दो मत चलते आ रहे हैं। वास्तु के हिसाब से कबूतर को मां लक्ष्मी का भक्त माना जाता है। ऐसे में इसका घर में आना शुभ होता है वहीं कई लोगों का मानना है कि इसके घर में रहने से दुर्भाग्य बढ़ता है। जानिए कुछ ऐसे ही कबूतर संबंधी संकेतों के बारे में।
घर में घोंसला बना लेना
आमतौर पर माना जाता है कि घर में कबूतर का घोंसला बनना अशुभ होता है। घर की बालकनी या छत पर घोंसला बनाने का मतलब है कि वह अपने साथ दुर्भाग्य लेकर आया है। ऐसे में उसे तुरंत हटा देना चाहिए। वरना व्यक्ति को कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसके साथ ही घर में रहने वाले सदस्यों की तरक्की के साथ आर्थिक तंगी पर बुरा असर पड़ता है।
कबूतर के घर में घोंसला बनाने को लेकर कई लोगों का मानना है कि इससे घर में सुख-समृद्धि के साथ सौभाग्य आता है। क्योंकि कबूतर मां लक्ष्मी का परम भक्त है। इसलिए कबूतर का घोंसला नहीं हटाना चाहिए।
बुध और गुरु ग्रह की स्थिति होगी मजबूत
वास्तु शास्त्र के अनुसार, मां लक्ष्मी की कृपा पाने के लिए कबूतर को दाना जरूर खिलाना चाहिए। ऐसा करने से कुंडली में गुरु और बुध की स्थिति भी मजबूत होती है। इसके साथ ही घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ जाता है।
कबूतर संबंधी अन्य वास्तु संकेत
अचानक मिल जाए कबूतर
वास्तु के मुताबिक, अगर बाहर जाते समय अचानक कबूतर आपके दाईं ओर से उड़कर जाए तो यह आपके भाई और परिजनों के लिए शुभ नहीं होता।
कबूतर की आवाज बदल सकती है जिंदगी
वास्तु शास्त्र के अनुसार, अगर कबूतर दिन के प्रथम प्रहर में गुटर गूं करें तो इसका मतलब है कि लाभ मिलेगा, तीसरे प्रहर में विवाह या प्रेम संबंधी हो सकता है। लेकिन चौथे प्रहर में गुटर गूं करने से कामों में हानि पहुंचती है।