धर्म-अध्यात्म

साावन शनिवार पर करें ये खास उपाय, शनिदेव के प्रकोप से मिलेगी मुक्ति

Subhi
30 July 2022 3:30 AM GMT
साावन शनिवार पर करें ये खास उपाय, शनिदेव के प्रकोप से मिलेगी मुक्ति
x
हिंदू धर्म में सावन का महीने का अधिक महत्व होता है। क्योंकि यह मास भगवान शिव को अतिप्रिय है। सावन में भगवान शिव की विशेष रूप से पूजा अर्चना की जाती है। भगवान शिव के साथ-साथ शनिदेव की पूजा करना भी शुभ माना जाता है। शनिदेव को समर्पित वार यानी शनिवार के दिन पूजा पाठ करने से शनि साढ़ेसाती, दोष, महादशा आदि से छुटकारा मिल जाता है। क्योंकि माना जाता है कि शनिदेव भगवान शिव के भक्तों पर कुदृष्टि नहीं डालते हैं।

हिंदू धर्म में सावन का महीने का अधिक महत्व होता है। क्योंकि यह मास भगवान शिव को अतिप्रिय है। सावन में भगवान शिव की विशेष रूप से पूजा अर्चना की जाती है। भगवान शिव के साथ-साथ शनिदेव की पूजा करना भी शुभ माना जाता है। शनिदेव को समर्पित वार यानी शनिवार के दिन पूजा पाठ करने से शनि साढ़ेसाती, दोष, महादशा आदि से छुटकारा मिल जाता है। क्योंकि माना जाता है कि शनिदेव भगवान शिव के भक्तों पर कुदृष्टि नहीं डालते हैं। इसलिए सावन माह में पड़ने वाले शनिवार के दिन ये उपाय करना शुभ होगा। आइए जानते हैं सावन में शनिदेव को प्रसन्न करने के उपाय

शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए करें ये उपाय

पीपल की करें पूजा

सावन के तीसरे शनिवार के दिन पीपल के पेड़ पर जल चढ़ाएं और सात बार परिक्रमा करें। इसके साथ ही शाम के समय सरसों के तेल का दीपक जलाना चाहिए। ऐसा करने से शनि के दोष से मुक्ति मिलती है।

शिवजी को करें काला तिल अर्पित

सावन के शनिवार के दिन जल में थोड़ा सा काला तिल डालकर शिवलिंग का जलाभिषेक करने से भगवान शिव के साथ-साथ शनि देव की कृपा बरसती है।

रुद्राक्ष की माला से करें शनि मंत्र का जाप

सावन के शनिवार के दिन रुद्राक्ष की माला से शनिदेव का जाप करना चाहिए। इससे शनि दोष से मुक्ति मिलती है।

शहद से करें जलाभिषेक

सावन शनिवार के दिन जल में थोड़ा सा शहद डालकर भगवान शिव का अभिषेक करें। इससे शिवजी के साथ-साथ शनिदेव भी प्रसन्न होते है।

शनि यंत्र की करें स्थापना

जीवन में आ रहे हैं हर तरह के कष्टों से छुटकारा पाने के लिए शनिवार को शनि यंत्र की विधिवत पूजा करने के साथ स्थापना करें। इसके बाद नियमित रूप से पूजा करें। नीले रंग के फूल अर्पित करना होगा और शनिवार के दिन सरसों के तेल का दीपक यंत्र के सामने जलाएं।


Next Story