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धर्म-अध्यात्म
चंद्र ग्रहण पर न करें ये गलतियां, मिल सकते हैं बुरे परिणाम
Apurva Srivastav
25 March 2024 5:41 AM GMT
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नई दिल्ली : हिंदू धर्म में तुलसी के पौधे को विशेष महत्व दिया गया है। माना जाता है कि तुलसी के पौधे की नियमित रूप से पूजा करने और उसमें जल देने से व्यक्ति को जीवन में कई तरह के लाभ मिल सकते हैं। वहीं, जिस घर में हरा-भरा तुलसी का पौधा पाया जाता है, वहां, घर में सुख-समृद्धि का वास बना रहता है। ऐसे में आपको पूर्णिमा के दिन तुलसी से जुड़े कुछ नियमों का विशेष रूप से ध्यान रखना चाहिए।
करें ये काम
पूर्णिमा के दिन खाने या अन्य पवित्र चीजों में तुलसी के पत्ते डाले जाते हैं और उसके बाद इन चीजों का उपयोग किया जाता है। लेकिन इस बात का ध्यान रखें कि सूतक काल से पहले ही तुलसी के पत्ते तो कर राख लेने चाहिए। क्योंकि सूतक काल में तुलसी के पत्ते उतरना शुभ नहीं माना जाता। ऐसा करने से लक्ष्मी जी नाराज हो सकती हैं।
न करें ये गलती
माना जाता है कि चंद्र ग्रहण के दिन तुलसी के पौधे को खुले में रखने से बचना चाहिए। इसके साथ ही यदि आपका तुलसी का पौधा गमले में लगा हुआ है, तो चंद्र ग्रहण के दौरान इस गमले को गेरू रंग से रंग देना चाहिए।
न करें ऐसे तुलसी के पत्तों का प्रयोग
चंद्र ग्रहण के दौरान इस बात का ध्यान रखें कि जिन भी पूजा सामग्री में आप तुलसी के पत्ते डाल रहे हैं, वह एकदम सात्विक होने चाहिए। इस बात का भी ध्यान रखें कि खंडित तुलसी के पत्तों का उपयोग नहीं करना चाहिए।
रुष्ट हो सकती हैं मां लक्ष्मी
चंद्र ग्रहण के दिन इस बात का विशेष रूप से ध्यान रखें कि तुलसी के पत्तों को ज्यादा जोर से नहीं बल्कि हाथ से तोड़ना चाहिए। वहीं, ऐसा माना जाता है कि सूतक काल में यदि आप तुलसी के पत्तों को स्पर्श करते हैं, तो इससे लक्ष्मी माता आपसे रुष्ट हो सकती है। जिस कारण आपको धन संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
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Apurva Srivastav
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