धर्म-अध्यात्म

दिवाली पर इन छोटी बातों को न करें नजरअंदाज, नहीं मिलेगी मां लक्ष्मी की कृपा

Subhi
9 Oct 2022 3:53 AM GMT
दिवाली पर इन छोटी बातों को न करें नजरअंदाज, नहीं मिलेगी मां लक्ष्मी की कृपा
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पंच दिवसीय पर्व दीपावली की तैयारियां लगभग सभी घरों में शुरू हो गई है. यह पर्व ही सकारात्मक ऊर्जा से भरा और लोगों के बीच प्रेम व सौहार्द का संचार करने वाला है. यह त्योहार परिवार और दोस्तों के साथ आनंद उठाने व परंपराओं से जुड़ने का है. इस पर्व को कार्तिक मास की अमावस्या के दिन मनाया जाता है

पंच दिवसीय पर्व दीपावली की तैयारियां लगभग सभी घरों में शुरू हो गई है. यह पर्व ही सकारात्मक ऊर्जा से भरा और लोगों के बीच प्रेम व सौहार्द का संचार करने वाला है. यह त्योहार परिवार और दोस्तों के साथ आनंद उठाने व परंपराओं से जुड़ने का है. इस पर्व को कार्तिक मास की अमावस्या के दिन मनाया जाता है और इसे कमला तथा लक्ष्मी जयंती भी कहा जाता है. इस त्योहार की खास बात यही है कि जहां एक ओर अमावस्या के कारण सारा वातावरण अंधकार में डूबा रहता है, किंतु जगमग दीपों के माध्यम से अंधकार दूर कर उजाला फैला दिया जाता है. देश के हर कोने में तो यह त्योहार धूमधाम से मनाया ही जाता है, अब तो विदेशों में रहने वाले भारतीयों के साथ, वहां के लोग भी इस पर्व का आनंद उठाते हैं.

इन बातों को प्लानिंग में करें शामिल

यूं तो दीपावली का मुख्य पर्व 24 अक्टूबर दिन सोमवार को मनाया जाएगा, किंतु सभी लोग अपने अपने घरों की सफाई और सजावट में अभी से व्यस्त हो गए हैं. इसके साथ ही प्लानिंग की जा रही है कि इस बार की धनतेरस में ज्वेलरी में क्या खरीदना है और बर्तनों में क्या नया लिया जाएगा. बहुत से लोग दीपावली के मौके पर ही वाहन या मकान भी खरीदते हैं. इन तैयारियों के बीच में आपको यह जानना भी जरूरी है कि ऐसी कौन सी छोटी-छोटी बातें हैं, जिन्हें हमें दीपावली की प्लानिंग में शामिल करना चाहिए.

दीपावली एक ऐसा त्योहार है, जब घर के कोने-कोने की सफाई की जाती है, घर की सफाई करते समय अनुपयोगी, मृत व कबाड़ को घर से बाहर निकालना न भूलें, क्योंकि यह सारी चीजें नकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती हैं और जहां पर नकारात्मक ऊर्जा और गंदगी होती है, वहां पर लक्ष्मी जी नहीं आती हैं.

घर की सभी वस्तुओं को सुनियोजित एवं सुसज्जित ढंग से रखें, शोकेस में भी जो सजावटी सामान रखे हैं, उन्हें साफ कर व्यवस्थित कर देना चाहिए.

दीपावली के मुख्य पर्व के दो दिन पहले धनत्रयोदशी होती है, किंतु इस बार धन त्रयोदशी 23 अक्टूबर को ही होगी. इस दिन धन के लिए भगवान कुबेर और आरोग्य के लिए भगवान धन्वंतरि की उपासना करनी चाहिए. भगवान धन्वंतरि की जयंती भी इसी दिन मनाई जाती है.

इस बार नरक चतुर्दशी और दीपावली का पर्व एक ही दिन मनाया जाएगा. नरक चतुर्दशी के दिन वरुण, यम और हनुमान जी की उपासना करना शुभ माना जाता है. इस दिन हनुमान जयंती मानी जाती है, इसलिए हनुमान जी पर चोला चढ़ाने के बाद भोग लगाएं और सुंदरकांड या हनुमान चालीसा का पाठ कर सकें तो उत्तम रहेगा.

दीपावली के दिन घर के सभी लोगों को सूर्योदय से पहले उठकर स्नान आकर नए या स्वच्छ कपड़े पहनने चाहिए. इस बार 24 अक्टूबर को सुबह नरक चतुर्दशी और शाम को दीपोत्सव होगा.

धन लाभ के लिए दीपावली का समय परम सिद्ध माना गया है. छोटे- बड़े सभी व्यापारी वर्ग अपनी दुकान पर माता लक्ष्मी का पूजा करते हैं, इसलिए सभी को शुभ मुहूर्त में पूजा करनी चाहिए. इसके बाद घरों में आकर शुभ मुहूर्त में पूजा करने के बाद घर के हर कोने में दीप जलाकर रोशनी करना न भूलें.


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