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Diwali : लक्ष्मी पूजा में भूलकर भी न अर्पित करें ये चीजें, मां हो जाएंगी रुष्ट
दिवाली पर धन, संपत्ति और ऐश्वर्य की अधिष्ठात्री देवी मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने का विधान है। हिंदू पंचांग के अनुसार, इस बार दिवाली का पूजन 04 नवंबर 2021 को किया जाएगा। शास्त्रों के अनुसार मां लक्ष्मी की उत्पत्ति समुद्र मंथन के समय जल से हुई थी, इसलिए ये चंचला कहलाती हैं। एक स्थान पर ठहरना मां लक्ष्मी का स्वभाव नहीं है परंतु जिस व्यक्ति पर मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है, उसके जीवन में सुख सुविधाओं की कोई कमी नहीं रहती है, लेकिन मां लक्ष्मी यदि रुष्ट हो जाए तो मनुष्य को दरिद्रता का सामना करना पड़ सकता है। मान्यता है कि दिवाली की रात मां लक्ष्मी विचरण करती हैं और अपने भक्तों के घर पधारती हैं, इसलिए दिवाली पर हर व्यक्ति मां लक्ष्मी की पूजा अर्चना करके उनकी कृपा प्राप्त करना चाहता है लेकिन लक्ष्मी जी की पूजा करते समय विशेष ध्यान रखना चाहिए। कुछ चीजें मां लक्ष्मी को अर्पित नहीं करना चाहिए, अन्यथा वे रुष्ट हो सकती हैं।
भगवान विष्णु को तुलसी बहुत प्रिय है। तुलसी को हरिवल्लभा भी कहा जाता है। शास्त्रों के अनुसार तुलसी का विवाह विष्णु जी के विग्रह स्वरूप शलिग्राम से हुआ था। जिसके कारण एक तरह से रिश्ते में वह मां लक्ष्मी की सौतन बन गई, इसलिए माना जाता है कि मां लक्ष्मी की पूजा में या उन्हें भोग लगाते समय तुलसी या फिर तुलसी मंजरी का प्रयोग नहीं करना चाहिए। इससे मां लक्ष्मी आपसे रुष्ट हो सकती हैं। जिसके कारण आपको जीवन में धन संबंधी समस्याओं से जूझना पड़ता है। आप भी दिवाली पर ध्यान रखें कि किसी भी प्रकार से मां लक्ष्मी को तुलसी की मंजरी अर्पित न करें।
मां लक्ष्मी को सुख-सुहाग और सौभाग्य प्रदान करने वाली देवी कहा गया है। मां लक्ष्मी को हमेशा गुलाबी और लाल आदि शुभ रंगों की चीजें अर्पित करनी चाहिए। इससे मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं, लेकिन भूलकर भी उनकी पूजा में कभी भी सफेद रंग और सफेद वस्त्र नहीं चढ़ाने चाहिए। यह शुभ नहीं माना जाता है।
मां लक्ष्मी की पूजा के साथ भगवान गणेश की वंदना अवश्य करनी चाहिए। गणेश वंदना के बाद लक्ष्मी नारायण की पूजा करनी चाहिए। तभी लक्ष्मी जी की पूजा पूर्ण होती है। गणेश जी की वंदना के बिना लक्ष्मी पूजा सफल नहीं होती है। मां लक्ष्मी की पूर्ण कृपा प्राप्त करने के लिए गणेश पूजन अवश्य करें।