- Home
- /
- अन्य खबरें
- /
- धर्म-अध्यात्म
- /
- वास्तु अनुसार सजाए इस...
धर्म-अध्यात्म
वास्तु अनुसार सजाए इस होली में घर को, खूबसूरती बढ़ने के साथ सकारात्मक ऊर्जा का होगा संचार
Ritisha Jaiswal
12 March 2022 10:01 AM GMT

x
देशभर में लोग होली का त्योहार बड़ी ही धूमधाम से मनाते हैं। इसके लिए लोग खास वास्तु टिप्स भी अपनाते हैं
देशभर में लोग होली का त्योहार बड़ी ही धूमधाम से मनाते हैं। इसके लिए लोग खास वास्तु टिप्स भी अपनाते हैं। इसके अलावा आप चाहे तो इस होली घर को भी वास्तु अनुसार सजा सकते हैं। इससे घर की खूबसूरती बढ़ने के साथ सकारात्मक ऊर्जा का संचार होगा। चलिए जानते हैं घर सजाने या इसपर बदलाव करने के कुछ खास टिप्स...
मुख्य द्वार पर रोशनी का हो उचित प्रबंध
घर के मुख्य द्वार कभी भी अंधेरा नहीं होना चाहिए। इससे नकारात्मक ऊर्जा घर में प्रवेश कर सकती हैं। इसलिए यहां पर रोशनी का उचित प्रबंध रखें।
मांगलिक चिन्ह लगाएं
होली खुशियों का व शुभ त्योहार हैं। इसलिए इस दिन घर के मुख्य द्वार पर फूलों व पत्ते से तैयार तोरण या कोई मांगलिक चिन्ह जरूर लगाएं। इसके साथ ही मेन गेट साफ-सफाई का ध्यान रखें।
दक्षिण दिशा की दीवारों से सटाकर रखें बेड
अपने बेडरूम के बेड को दक्षिण दिशा की दीवारों से सटाकर ही रखें। इसके साथ ही बेड को खिड़की व दरवाजे के ठीक सामने रखने की गलती ना करें। इसके अलावा शयनकक्ष में ठीक बेड के सामने शीशा रखने से भी बचना चाहिए। इससे कपल्स में तनाव बढ़ सकता है। वास्तु अनुसार, अगर आपको बेडरूम में ड्रेसिंग टेबल रखना है तो सोने से पहले उसे किसी कपड़े से कवर कर लें।
लाल सोफा रखने से बचें
अगर आप के ड्राइंग रूम में लाल सोफा है तो इसे तुरंत हटा दें। इससे घर के सदस्यों में मतभेद हो सकते हैं। इसकी जगह पर पीला, आसमानी, हरा या आसमानी नीला रख का सोफा सेट रखें।
इस दिशा में रखें गैस-चूल्हा
वास्तु अनुसार, किचन में गैस-चूल्हा हमेशा दक्षिण-पूर्व हिस्से में रखना चाहिए। इसके साथ ही खाना बनाते समय गृहणियां भी का मुख पूर्व दिशा की ओर होना चाहिए। इससे भोजन संतोष प्रदान करने वाला और सेहत के लिए अच्छा बनता है।
होली में शुभ-लाभ के लिए करें स्नान
होली खेलने के बाद लोग रंग-गुलाल उतारने के लिए स्नान करते हैं। इसके लिए स्नान करते वक्त उत्तर पूर्व दिशा में जल रखकर पूर्व दिशा की ओर मुख करें। फिर भगवान विष्णु का ध्यान करते हुए ही स्नान करें। वास्तु अनुसार, ऐसा करने से पितरों की आत्मा तृप्त होती है। होली के दिन सूर्योदय दौरान पूर्णिमा होने से दिनभर पूर्णिमा तिथि के कर्म करने चाहिए। इसतरह आप देवता और पितरों की संतुष्टि के लिए इसतरह स्नान करना शुभ माना जाता है

Ritisha Jaiswal
Next Story