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पुणे | महाराष्ट्र के पुणे शहर में आज पीएम नरेंद्र मोदी और शरद पवार एक कार्यक्रम में साथ रहने वाले हैं। एनसीपी में फूट के बाद पहली बार शरद पवार के साथ पीएम मोदी मंच पर रहेंगे। इस दौरान पीएम मोदी को लोकमान्य तिलक नेशनल अवॉर्ड से सम्मानित किया जाना है। इस आयोजन में शरद पवार को लेकर कांग्रेस असहज है और उद्धव ठाकरे गुट वाली शिवसेना भी भड़की हुई है। पर दिलचस्प बात यह है कि जिस आयोजन में पवार के जाने से कांग्रेस खफा है, उसके कर्ताधर्ता खुद उसके ही नेता रोहित तिलक हैं। वह महाराष्ट्र कांग्रेस के महासचिव हैं और लोकमान्य बाल गंगाधर तिलक के पड़पोते हैं।
ऐसे में सवाल तो कांग्रेस पर ही उठता है कि वह कैसे पूरे मामले को डील करेगी, जब उसके ही एक नेता ने आयोजन किया है और पीएम मोदी को सम्मान देने का फैसला लिया है। यह आयोजन तिलक स्मारक मंदिर ट्रस्ट द्वारा किया जाता है, जिसका संचालन लोकमान्य तिलक का परिवार ही करता है। यह फैमिली मोटे तौर पर कांग्रेस के साथ ही रही है, लेकिन सन् 2000 में मुक्ता तिलक जब भाजपा का हिस्सा बनीं तो हालात बदल गए। उसके बाद से भाजपा के करीब भी परिवार का एक हिस्सा रहा है। तिलक ट्रस्ट की ओर से हर साल 1 अगस्त को महान स्वतंत्रता सेनानी की पुण्यतिथि के मौके पर सम्मान दिया जाता है।
मजेदार बात यह है कि पुणे की कांग्रेस यूनिट ने भी पीएम मोदी को सम्मान दिए जाने पर सवाल उठाए हैं तो वहीं यह आयोजन उसके ही नेता रोहित तिलक ने किया है। कांग्रेस के लिए यह मुश्किल की बात है, जो पीएम नरेंद्र मोदी को इन दिनों मणिपुर के मसले पर घेरने में जुटी है। कांग्रेस की पुणे यूनिट के अध्यक्ष अरविंद शिंदे ने तो मंगलवार को पीएम मोदी के खिलाफ आंदोलन करने का भी ऐलान किया है। यह भी अजीब स्थिति होगी कि एक तरफ यसरद पवार मोदी के साथ मंच पर होंगे तो वहीं एनसीपी, कांग्रेस और शिवसेना के लोग आंदोलन करेंगे।
अरविंद शिंदे ने मोदी पर हमला बोलते हुए कहा, 'लोकमान्य तिलक सम्मान को स्वीकार करते हुए एक आदमी को यह सोचना चाहिए कि उसने तिलक की शिक्षाओं का कितना पालन किया है। मैं पुणे के लोगों से अपील करता हूं कि वे अपने घरों में काले झंडे लगाएं और ऐसा नहीं कर पा रहे तो काले गुब्बारे आसमान में उड़ाएं।' उन्होंने कहा कि जब मणिपुर को पीएम की जरूरत है तो वह यहां सम्मानित होने के लिए आ रहे हैं। पुणे शहर को उनका स्वागत नहीं करना चाहिए। इस आयोजन में सीएम एकनाथ शिंदे और डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस भी मौजूद रहेंगे।
इस बीच चर्चा तो रोहित तिलक के भविष्य को लेकर भी है। कहा जा रहा है कि पीएम मोदी को सम्मानित करके वह भाजपा में अपनी राह तलाश रहे हैं। रोहित तिलक फिलहाल तिलक स्मारक ट्रस्ट के उपाध्यक्ष भी हैं। उन्होंने ऐसी चर्चाओं से इनकार करते हुए कहा कि यह पूरी तरह से गैर-राजनीतिक आयोजन है। उन्होंने कहा कि हम पहले ही अलग-अलग राजनीतिक विचार से आने वाले लोगों को सम्मानित कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि ट्रस्ट के हर सदस्य ने पीएम मोदी के नाम पर सहमति जताई थी। उन्हें भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिए यह सम्मान दिया जा रहा है क्योंकि तिलक की विचारधारा भी स्वदेशी की ही थी।
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