धर्म-अध्यात्म

ये उपाय करने से दूर होंगी सभी परेशानियां

Tara Tandi
30 Jun 2021 2:22 PM GMT
ये उपाय करने से दूर होंगी सभी परेशानियां
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हिंदू धर्म में आषाढ़ महीना पूजा पाठ और दान पुण्य के लिए महत्वपूर्ण होता है

जनता से रिश्ता वेबडेस्क|हिंदू धर्म में आषाढ़ महीना पूजा पाठ और दान पुण्य के लिए महत्वपूर्ण होता है. हर महीने में कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को कालाष्टमी का व्रत रखा जाता है. हिंदू पंचांग के अनुसार इस बार कालाष्टमी का व्रत 1 जुलाई 2021 को रखा जाएगा. इस दिन भगवान काल भैरव की पूजा अर्चना की जाती है. काल भैरव भगवान शिव के रुद्र स्वरुप हैं. भगवान काल भैरव को कोतवाल कहा जाता है. काल भैरव की पूजा से भक्तों को भय से मुक्ति मिलती है. इस दिन व्रत और उपवास रखने से आपके सभी संकट दूर हो जाते हैं.

कालाष्टमी के दिन कई लोग उपवास और व्रत रखते हैं. इस दिन विभिन्न उपायों को करने से आपकी सभी मनोकामानाएं पूर्ण हो जाती है. ज्योतिषों के अनुसार कालाष्टमी के दिन कुछ उपायों को करने से आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती है. आइए जानते हैं इन उपायों के बारे में.
1 .कालाष्टमी के दिन भगवान काल भैरव को प्रसन्न करने के लिए उनकी मूर्ति के सामने सरसों के तेल का दीपक जलाएं और श्री कालभैरवाष्टमकम् का पाठ करें. इस उपाय को करने से आपकी सभी मनोकामानाएं पूर्ण हो जाती है.
2. कालाष्टमी के दिन काल भैरव भगवान को 21 बिल्वपत्रों पर ऊं नम: शिवाय लिखकर चढ़ाएं. इस दिन विधि- विधान से पूजा करने से आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होंगी.
3 . ज्योतिष विद्या के अनुसार, कालाष्टमी के दिन काले कुत्ते को मीठी रोटी खिलाने से आपके बिगड़े हुए काम बनते हैं. अगर आपको काला कुत्ता नहीं मिल रहा है तो किसी भी अन्य कुत्ते को भी रोटी खिला सकते हैं. भगवान कालभैरव की सवारी कुत्ता हैं. इस उपाय को करने से भगवान कालभैरव ही नहीं शनिदेव भी प्रसन्न होते हैं.
4. भगवान कालभैरव को प्रसन्न करने के लिए कालाष्टमी के दिन से अगले 40 दिन तक काल भैरव के दर्शन करें. इस उपाय को करने से भगवान भैरव प्रसन्न होंगे और आपकी सभी इच्छाओं को पूरा करेंगे. इस पूजा विधि को चालीसा कहते हैं.
5. कालाष्टमी के दिन भगवान काल भैरव के मंदिर में चंदन, गुलाब की 33 खुशबूदार अगरबत्तियां जलाएं. ऐसा करने से आपके सभी दुख दूर हो जाएंगे.
(यहां दी गई जानकारियां धार्मिक और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं, इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)


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