धर्म-अध्यात्म

Ahoi Ashtami 2021: इस साल अक्टूबर में कब है अहोई अष्टमी, जानें शुभ मुहूर्त और महत्व

Tulsi Rao
21 Sep 2021 12:19 PM GMT
Ahoi Ashtami 2021: इस साल अक्टूबर में कब है अहोई अष्टमी, जानें शुभ मुहूर्त और महत्व
x
कार्तिक मास (Kartik Month) के कृष्ण पक्ष (Krishna Paksha) की अष्टमी को अहोई अष्टमी (Ahoi Ashtami) मनाई जाती है. इस दिन विधि-विधान के साथ माता अहोई की पूजा (Ahoi Puja) की जाती है और व्रत रखा जाता है

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। Ahoi Ashtami 2021 Vrat: कार्तिक मास (Kartik Month) के कृष्ण पक्ष (Krishna Paksha) की अष्टमी को अहोई अष्टमी (Ahoi Ashtami) मनाई जाती है. इस दिन विधि-विधान के साथ माता अहोई की पूजा (Ahoi Puja) की जाती है और व्रत रखा जाता है. साथ ही इस दिन भगवान भोलेनाथ (Bhagwan Shiv) और माता पार्वती (Mata Parwati) की पूजा भी की जाती है. अहोई अष्टमी का व्रत (Ahoi Ashtami Vrat) संतान की दीर्घायु के लिए रखा जाता है. इतना ही नहीं, संतान प्राप्ति के लिए इस दिन महिलाएं व्रत रखती हैं. कहते हैं कि जिन महिलाओं की संतान दीर्घायु न हो रही हो या फिर गर्भ में ही मृत्यु हो रही हो उन महिलाओं के लिए भी अहोई अष्टमी का व्रत काफी शुभ माना जाता है.

इस साल अहोई अष्टमी (Ahoi Ashtami On 28th October) का व्रत 28 अक्टूबर को रखा जाएगा. वैसे करवा (Karwa Chauth) चौथ के तीन दिन बाद अष्टमी के दिन अहोई का व्रत रखा जाता है. इस दिन महिलाएं सुबह से व्रत रखती हैं और भूखी रहती हैं. रात को तारों को अर्घ्य देकर व्रत खोला जाता है. वहीं, कई जगह महिलाएं इस दिन भी चांद देखकर व्रत खोलती हैं.
अहोई अष्टमी तिथि (Ahoi Ashtami Tithi)
कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी का विशेष महत्व है. इस दिन अहोई माता की पूजा की जाती है. माता पार्वती की अहोई के रूप में पूजा होती है. इस दिन महिलाएं पूरा दिन निर्जला रहकर तारों को अर्घ्य देकर व्रत खोलती हैं. इस बार अष्टमी तिथि 28 अक्टूबर 2021, गुरुवार 12:49 पीएम से शुरू होकर 29 अक्टूबर, शुक्रवार 2:09 पीएम पर समापन होगा.
अहोई अष्टमी शुभ मुहूर्त (Ahoi Ashtami Shubh Muhurat)
व्रत के एक दिन पहले से ही व्रत के नियमों का पालन किया जाता है. व्रत की पूर्व संध्या को महिलाएं सात्विक भोजन करती हैं. कहते हैं कि ये व्रत आयुकारक और सौभाग्यकारक दोनों माने जाते हैं. इस दिन पूजा का मुहूर्त 28 अक्टूबर 2021, बृहस्पतिवार समय: 05:39 पीएम से 06:56 पीएम तक होगा.
अहोई अष्टमी महत्व (Ahoi Ashtami Importance)
अहोई अष्टमी का व्रत करवा चौथ के व्रत तीन दिन बाद ही रखा जाता है. जैसे करवा चौथ का व्रत पति की लंबी आयु के लिए रखा जाता है उसी प्रकार अष्टमी का व्रत संतान की दीर्घायु और खुशहाल जीवन के लिए रखा जाता है. इस दिन महिलाएं निर्जला व्रत रखती हैं. मान्यता है कि अहोई अष्टमी के दिन व्रत कर विधि विधान से अहोई माता की पूजा करने से मां पार्वती अपने पुत्रों की तरह ही आपके बच्चों की रक्षा करती हैं. साथ ही पुत्र प्राप्ति के लिए भी यह व्रत खास महत्व रखता है.


Next Story