राजसमंद। राजसमंद झील से 42 गांवों की 10,500 हेक्टेयर भूमि को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराया जाता है। इसके तहत 16 नवम्बर को दायीं नहर और 19 नवम्बर को बायीं नहर खोली गई थी। पहले बुवाई के लिए पानी उपलब्ध कराया गया था। अब सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। सिंचाई …
राजसमंद। राजसमंद झील से 42 गांवों की 10,500 हेक्टेयर भूमि को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराया जाता है। इसके तहत 16 नवम्बर को दायीं नहर और 19 नवम्बर को बायीं नहर खोली गई थी। पहले बुवाई के लिए पानी उपलब्ध कराया गया था। अब सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। सिंचाई विभाग के अनुसार बायीं नहर को 18 जनवरी को बंद किया गया है, जबकि दायीं नहर से पानी की निकासी जारी है। झील से लगातार पानी की निकासी होने के कारण वर्तमान में झील का जलस्तर 24.60 के करीब पहुंच गया है। अब बायीं नहर को अगले सप्ताह खोला जाएगा। इसके पश्चात इससे 26 दिन पानी की निकासी जारी रहेगी। फिर इसे बंद किया जाएगा। फिर 25 ्रफरवरी के बाद इसे अंतिम बार खोला जाएगा। उल्लेखनीय है कि 9 नवम्बर को जिला कलक्टर की अध्यक्षता में आयोजित जल वितरण समिति की बैठक में बुवाई और सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराने पर सहमति बनी थी। झील में पेयजल के लिए 16.50 फीट पानी रखा जाएगा। झील से शहरी क्षेत्र में पानी की सप्लाई होती है।
इस वर्ष बिपरजॉय तूफान के तहत हुई बारिश से चली गोमती नदी और खारी फीडर से लगातार पानी की आवक के कारण राजसमंद झील छलक गई थी। ऐसे में नहरों को जब खोला गया था, तब झील का जलस्तर 29.80 के करीब था। अब झील का जलस्तर 24.60 फीट के आस-पास पहुंच गया है। झील से लगातार पानी कम होने के कारण वांसोल भाणा रोड के किनारों पर भूमि फिर से दिखाई देने लग गई है। पहले रोड तक पानी भरा हुआ था। यह ओवरफ्लो रोड से बहकर नाले में जा रहा था। राजसमंद झील में अब तक फ्लोटिंग फव्वारे नहीं लगाए जाने के कारण झील का पानी फिर से काई के चलते हरा-हरा दिखाई देने लगा है। नगर परिषद की ओर से झील में फ्लोटिंग फव्वारे लगाए गए थे, लेकिन देखरेख के अभाव में उसकी मोटरें आदि चोरी हो गई। परिषद की ओर से इन्हें फिर से चालू करने के लिए टेण्डर भी किया गया , लेकिन आजतक इन्हें दुरुस्त नहीं कराया गया है। ऐसे में गंदगी के चलते पानी से बदूब आने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है। खेतों में सिंचाई के पानी उपलब्ध कराने के लिए अब दो बार और नहरों को खोला जाएगा। बायीं नहर को 18 जनवरी को बंद कर दिया था। अब इसे 5-7 दिन बाद खोला जाएगा। दायीं नहर से पानी की निकासी जारी है।