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ग्रेट-ब्रिटेन के खिलाफ शूट आउट में जीत के बाद पीआर श्रीजेश का भावुक बयान

jantaserishta.com
4 Aug 2024 11:41 AM GMT
ग्रेट-ब्रिटेन के खिलाफ शूट आउट में जीत के बाद पीआर श्रीजेश का भावुक बयान
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पेरिस: ग्रेट-ब्रिटेन के खिलाफ क्वार्टर फाइनल मुकाबला जीतने के बाद भारतीय टीम के गोलकीपर श्रीजेश भावुक नजर आये। भारत ने शूट आउट में 4-2 से मैच जीता है। यह श्रीजेश का आखिरी ओलंपिक है। उन्होंने पहले ही संन्यास का ऐलान कर दिया है और वो हर मुकाबले में अपनी पूरी जान झोंक रहे हैं। भारत की इस जीत में उन्होंने अहम भूमिका निभाई है।
निर्धारित 60 मिनट तक दोनों टीमें 1-1 की बराबरी पर रहीं। इसके बाद शूट आउट में ग्रेट-ब्रिटेन को 4-2 से हरा कर भारत ने सेमीफाइनल में जगह बनाई। क्वार्टर फाइनल मैच जीतने के बाद भारतीय टीम के गोलकीपर श्रीजेश ने कहा, "मैंने खुद से कहा कि यह मेरा आखिरी मैच हो सकता है। या फिर मैंने गोल बचा लिया तो मुझे दो और मैच खेलने को मिलेंगे। मैं यह मैच जीतकर बेहद खुश हूं।"
पीआर श्रीजेश निर्धारित 60 मिनट तक और शूट आउट के दौरान अपने अविश्वसनीय बचाव के लिए भारत के लिए क्वार्टर फाइनल के हीरो रहे। ये पहला मौका नहीं है कि जब श्रीजेश टीम की जीत में हीरो रहे हैं। पिछले मुकाबलों में भी उन्होंने शानदार बचाव किया और विरोधी टीम पर लगातार दबाव बनाया ।
सोशल मीडिया पर भारतीय टीम के शानदार प्रदर्शन से प्रशंसक बेहद खुश हैं, जबकि अमित रोहिदास को रेड कार्ड दिए जाने से फैंस थोड़े निराश हुए। भारत की जीत के बाद पीआर श्रीजेश और उनके साथियों को सोशल मीडिया पर खूब प्यार मिला।
भारत के लिए कप्तान हरमनप्रीत सिंह और ग्रेट ब्रिटेन के लिए ली मॉर्टन ने गोल किए। शूट आउट में पहला प्रयास ब्रिटेन की ओर से लिया गया, जो सफल रहा। फिर भारतीय कप्तान हरमनप्रीत सिंह ने गोल दागकर 1-1 की बराबरी दिला दी। ब्रिटेन का दूसरा प्रयास भी सफल रहा। लेकिन भारत भी कहां पीछे रहने वाला था और भारत के लिए सुखजीत ने गोल करके भारत को 2-2 से बराबरी दिला दी।
मैच में रोमांच जब और अधिक बढ़ गया जब ब्रिटेन के बाकी दो प्रयास बेकार गए। वहीं भारत ने अगले दो प्रयास निशाने पर लगाए और 4-2 से जीत दर्ज की। ब्रिटेन के लिए एलबरी जेम्सी और वालेस ने गोल किया जबकि भारत के लिए हरमनप्रीत सिंह, सुखजीत, ललित और राजकुमार ने गोल किया।
शूट आउट में भारत ने अपने चार निशाने साधे, जबकि ग्रेट-ब्रिटेन दो निशाने ही लगा पाया। जीतने के बाद भारतीय खिलाड़ी और समर्थक खुशी से झूम उठे। 1972 म्यूनिख ओलंपिक के बाद यह पहला मौका जब भारत लगातार दो ओलंपिक के सेमीफाइनल में पहुंचा है।
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