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योगी सरकार 2.0 का पहला बजट, जानिए क्या हो सकता है खास

jantaserishta.com
26 May 2022 3:10 AM GMT
योगी सरकार 2.0 का पहला बजट, जानिए क्या हो सकता है खास
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लखनऊ: उत्तर प्रदेश में योगी 2.0 का आज पहला बजट पेश होगा. बताया जा रहा है कि ये यूपी के इतिहास का सबसे बड़ा बजट होगा. योगी सरकार में वित्त मंत्री के रुप में सुरेश खन्ना लगातर छठा बजट पेश करेंगे. ये बजट 6.10 लाख करोड़ रुपए का होगा. पिछला बजट 5,50,270.78 करोड़ रुपए का था.

सुरेश खन्ना के मुताबिक, यह बजट पेपरलेस होने के साथ ही एक समावेशी होगा, जिसमें हर वर्ग का ख्याल रखा गया है. उन्होंने कहा, बजट में महिलाओं, युवाओं और किसानों को प्राथमिकता दी जाएगी. इतना ही नहीं खन्ना ने दावा किया कि ये यूपी के इतिहास का सबसे बड़ा बजट होगा.
इस बजट में प्रदेश सरकार के संकल्प पत्र की सबसे अहम घोषणा और किसानों को सिंचाई के लिए मुफ्त बिजली दिए जाने के संबंधी वादे को पूरा करने का ऐलान किया जा सकता है. सरकार इस बार भी इससे पूर्व बनी सरकार की तरह अपने पहले बजट को किसानों पर केंद्रित रखेगी.
वित्त मंत्री ने बुधवार को इसके संकेत भी दिए थे. हालांकि, सिंचाई के लिए मुफ्त बिजली देने पर राज्य सरकार को सालाना करीब 1800 करोड़ रुपये अतिरिक्त खर्च उठाना पड़ेगा. इसके अलावा सिंचाई विभाग को इस बजट में 20 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा मिलने की उम्मीद है. मुख्यमंत्री कृषि सिंचाई योजना बजट का आकर्षण होगी. इसमें सभी लघु एवं सीमांत किसानों के लिए बोरवेल, ट्यूबवेल, तालाब और टैंक निर्माण के लिए अनुदान की व्यवस्था होगी.
बताया जा रहा है कि किसानों के आलू प्याज और टमाटर जैसी फसलों का न्यूनतम मूल्य सुनिश्चित करने का ऐलान बजट में किया जा सकता है. इसके अलावा मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत वित्तीय सहायता को 15 हजार से बढ़ाकर 25 हजार करने, 60 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं को सार्वजनिक परिवहन (बसों) में मुफ्त यात्रा की सुविधा देने, विधवा व निराश्रित महिलाओं की पेंशन में वृद्धि, मेधावी छात्राओं को रानी लक्ष्मीबाई योजना के तहत मुफ्त स्कूटी वितरण जैसे ऐलान बजट में किए जा सकते हैं.
प्रदेश के सभी मंडलों में एंटी करप्शन ऑर्गनाइजेशन यूनिट की स्थापना, थानों में साइबर हेल्प डेस्क स्थापित करने की योजना भी बजट में शामिल किया जा सकता है. पीडब्ल्यूडी के हिस्से 30 हजार करोड़ रुपये का बजट आने की उम्मीद है.
बजट में शिक्षा के क्षेत्र में सबसे ज्यादा जोर यूनिवर्सिटी और आईटीआई की स्थापना पर होने की उम्मीद जताई जा रही है. स्वास्थ्य संबंधी ढांचागत सुविधाएं, कम कीमत में दवा उपलब्ध कराने के लिए छोटे-छोटे केंद्र और नए डायलिसिस केंद्रों की स्थापना के लिए भी बजट प्रावधान हो सकता है.
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