उत्तरी दिल्ली नगर निगम सदन की बैठक में मंगलवार को उस समय अफरा-तफरी का माहौल बन गया, जब मलका गंज वार्ड से आम आदमी पार्टी (आप) की महिला पार्षद गुड्डी देवी हाथ में मिट्टी के तेल की बोतल लेकर महापौर के समक्ष वैल में पहुंच गईं। यह नजारा देख सदन में हड़कंप मच गया और आगे बैठे सत्ता पक्ष के पार्षद अपने स्थान से खड़े हो गए। इस दौरान पार्षद गुड्डी ने कहा कि महापौर जी मैं आज आग लगा लूंगी। अधिकारियों ने उनके वार्ड से बगैर बताए 115 सफाई कर्मचारियों को हटा दिया है इसके चलते उनके वार्ड में कई दिन से सफाई व्यवस्था चौपट पड़ी है। इसके बाद बड़ी मुश्किल से महापौर जयप्रकाश ने महिला पार्षद को समाधान का आश्वासन देते हुए उनके स्थान पर भेजा और तब जाकर सदन की कार्रवाई दोबारा से शुरू हो सकी। महापौर ने कहा कि सदन में इस तरह की हरकत निंदनीय है।
सदन की बैठक शुरू होने पर नेता विपक्ष विकास गोयल ने भलस्वा लैंडफिल साइड पर लगी ट्रॉमेल मशीनों को लेकर चर्चा शुरू की। उन्होंने आरोप लगाया कि भलस्वा लैंडफिल साइड भ्रष्टाचार का पहाड़ बन गई है। गोयल ने कहा कि अधिकारियों ने उनके द्वारा मांगे गए सवालों के जवाब में बताया है कि वहां 18 मार्च 2021 तक 24 मशीनें लगी हैं। इन मशीनों का किराया करोड़ों रुपये हो गया है और कूड़ा के निष्पादन उतना नहीं हुआ जितना आंकड़ों में बताया जा रहा है।
नेता विपक्ष ने इस मामले की जांच की मांग करते हुए भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारियों के लिए खिलाफ कार्रवाई करने की बात कही। इस पर कांग्रेस के पार्षद मुकेश गोयल ने कहा कि हकीकत यह है कि लैंडफिल साइट से कूड़ा नहीं हट रहा है। निगम में भाजपा को काबिज हुए 15 साल हो गए हैं, लेकिन लैंडफिल साइट पर आज भी कूड़े के पहाड़ की वही स्थिति है तो पहले थी। जितना किराया ट्रॉमेल मशीनों के लिए कंपनी को दिया जा रहा है, उतनी रकम में निगम खुद मशीनें खरीद सकता था।