सिडनी में 11 से 21 अगस्त के बीच होने जा रहे मालाबार अभ्यास में चार क्वाड देशों भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान की नौसेनाएं भाग लेंगी। इस अभ्यास का लक्ष्य चारों देशों के बीच संपूर्ण समुद्रीय सहयोग का विस्तार करना है।
भारतीय नौसेना की ओर से स्वदेशी अग्रिम पंक्ति के युद्धपोत आईएनएस सहयाद्रि और आईएनएस कोलकाता इस अभ्यास में भाग लेंगे। भारत के निमंत्रण पर 2020 में ऑस्ट्रेलिया ने मालाबार अभ्यास में भाग लिया था। इसके बाद के अभ्यासों में भाग लेता आ रहा ऑस्ट्रेलिया पहली बार इसकी मेजबानी कर रहा है।
चीन अपना दबदबा बढ़ाने की कर रहा कोशिश
हिंद-प्रशांत में सहयोग विस्तार करने पर केंद्रित वार्षिक युद्धाभ्यास में समुद्री और हार्बर चरण शामिल होंगे। इस क्षेत्र में चीन अपना दबदबा बढ़ाने में जुटा है। हार्बर चरण में कई गतिविधियां शामिल हैं। समुद्री चरण में युद्ध के सभी तीनों क्षेत्रों में विभिन्न जटिल और उच्च प्रदर्शन वाले अभ्यास शामिल होंगे।
इस अभ्यास से भारतीय नौसेना को अपने साझीदार देशों से समुद्री सुरक्षा अभियान में अंतरसंचालन क्षमता बढ़ाने और प्रदर्शित करने का अवसर मिलता है।
1992 में शुरू हुआ था मालाबार
हिंद महासागर में 1992 में भारत और अमेरिका की नौसेना के बीच द्विपक्षीय नौसेना अभ्यास मालाबार अभ्यास शुरू हुआ था। जापान 2015 में इसका स्थायी सदस्य बना।
2018 में यह अभ्यास गुआम में और 2019 में जापान में आयोजित हुआ। 2020 में दो चरणों में बंगाल की खाड़ी और अरब सागर में आयोजित हुआ और 2021 में पश्चिमी प्रशांत महासागर में गुआम तट पर यह बड़ा अभ्यास आयोजित किया गया।