आरजेडी में प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह (Jagdanand Singh) से छिड़े घमासान के बीच तेज प्रताप यादव (Tej Pratap Yadav) शनिवार को पार्टी दफ्तर पहुंचे. इस दौरान जगदानंद सिंह भी पार्टी ऑफिस में मौजूद थे, लेकिन काफी देर तक ऑफिस में मौजूद रहने के बावजूद न तो तेज प्रताप जगदानंद सिंह से मिलने गए और न ही जगदानंद सिंह तेज प्रताप से मिलने आए. दोनों अपने-अपने चैम्बर में बैठे रहे. करीब एक घंटे बाद जगदानंद सिंह अपने चैम्बर से निकले तो काफी नाराज दिखे और पत्रकारों पर भड़कते हुए कल से पार्टी दफ्तर में न आने देने की चेतावनी भी दे दी. वहीं, तेज प्रताप ने बताया कि उन्हें कॉमेडियन कपिल शर्मा (Kapil Sharma) के शो से बुलावा आया है.
करीब दो घंटे तक दफ्तर में रहने के बाद जब तेज प्रताप यादव बाहर निकले तो उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष से मुलाकात न होने के सवाल पर कहा कि जगदानंद सिंह मेरे चैम्बर में आ सकते थे और भतीजे की तरह मिल सकते थे. तेज प्रताप यादव ने आगे बताया कि उन्हें कपिल शर्मा शो से बुलावा आया है. शो में जाने के सवाल पर तेज प्रताप ने मजाकिया लहजे में कहा कि अगर कपिल शर्मा टिकट भेजेंगे तो चले जायेंगे.
आकाश यादव के आरजेडी छोड़ने पर क्या बोले तेज?
अपने करीबी आकाश यादव के आरजेडी छोड़कर एलजेपी जॉइन करने का समर्थन करते हुए तेज प्रताप ने कहा कि क्या कोई बेइज्जती सहकर संगठन में रहेगा? काम करने वाले को प्रताड़ित किया जाएगा, उसके बारे में सोशल मीडिया पर उल्टा-सीधा लिखा जाएगा, तो कोई रहेगा? तेज प्रताप ने आकाश यादव को बधाई देते हुए कहा कि मैं तो लड़ाई लड़ ही रहा हूं, लेकिन लोकतंत्र में सबको आजादी है. जिसको जहां जाना है, जा सकता है. उनके जाने से आरजेडी कमजोर नहीं होगी.
बता दें कि आकाश यादव कुछ दिन पहले तक छात्र आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष थे और उनको तेज प्रताप यादव का दाहिना हाथ माना जाता था. तेज प्रताप ने पिछले साल 19 मई को उन्हें छात्र आरजेडी का प्रदेश अध्यक्ष घोषित किया था. आकाश को छात्र आरजेडी का प्रदेशाध्यक्ष मानते हुए उसी दिन तेज प्रताप ने छात्र आरजेडी का भी पुनर्गठन किया था. हालांकि, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने छात्र आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष पद पर कभी कोई नियुक्ति नहीं की थी. इसलिए पिछले दिनों जगदानंद सिंह ने 18 अगस्त को गगन कुमार को छात्र आरजेडी का नया प्रदेश अध्यक्ष घोषित किया तो उन्होंने कहा कि छात्र आरजेडी का अध्यक्ष पद पहले से खाली था जिसे वह भर नहीं पाए थे और अब उन्होंने ऐसा किया है. इसके बाद जगदानंद सिंह और तेज प्रताप यादव में विवाद छिड़ गया था.