भारत

खुद पर कोड़े क्यों बरसा रहे थे राहुल?

Nilmani Pal
4 Nov 2022 6:05 AM GMT
खुद पर कोड़े क्यों बरसा रहे थे राहुल?
x

पप्पू फरिश्ता

'भारत जोड़ो यात्रा' का पहले दिन से प्रथम पृष्ठ एवं jantaserishta.com पर फूल कव्हरेज सिर्फ जनता से रिश्ता में... देखते रहें लगातार....

भारत जोड़ो यात्रा का आज आराम का दिन

तेलंगाना के बोनालु उत्सव में शामिल हुए कांग्रेस नेता

नई दिल्ली। कांग्रेस के दिन बहुराने को भारत जोड़ो यात्रा लेकर निकले राहुल गांधी का एक वीडियो वायरल है। यात्रा के 57वें दिन, तेलंगाना में राहुल खुद पर कोड़े बरसाते नजर आए। वायरल हो रहे विजुअल्स में दिख रहा है कि राहुल किसी व्यक्ति से कोड़ा हाथ में लेते हैं और उससे खुद को मारने लगते हैं। इस दौरान आसपास खड़े लोग राहुल का उत्साह बढ़ाते हैं। राहुल के इस वीडियो को लेकर कोई और अंदाज न लगाएं। वह यहां के एक त्योहार का हिस्सा बन रहे हैं जो 300 साल से भी ज्यादा पुराना है। इस त्योहार को बोनालु कहते हैं। मुख्य रूप से हैदराबाद और सिकंदराबाद में मनाया जाने वाला यह त्योहार महाकाली को समर्पित है। इस त्योहार का एक खास चेहरा हैं पोथराजू। राहुल कुछ देर के लिए इन्हीं पोथराजू की भूमिका में थे।


बता दें कि बोनालु उत्सव में पोथाराजू एक खास शख्स होता है। पोथाराजू बना व्यक्ति अपने शरीर पर कोड़े मारता है। पोथाराजू, बोनालू फेस्टिवल की देवी महाकाली का भाई है, जो देवी की रक्षा के लिए चाबुक चलाता है। परंपरा के मुताबिक, पोथाराजू को देवी महाकाली के विभिन्न रूपों वाली सात बहनों का भाई माना जाता है। कांग्रेस नेता भी अपनी यात्रा के दौरान यही अवतार में दिखे। बोनालु उत्सव के दौरान, महिलाएं जुलूस निकालते हुए पोथाराजू के नेतृत्व में मंदिरों में जाती हैं।

इस दौरान वे ढोल की थाप पर खूब नृत्य करती हैं और भीड़ को अपनी रस्सियों से कोड़े भी मारती हैं। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि एक व्यक्ति अपने हाथ में कोड़ा लिए होता है तभी राहुल गांधी आते हैं और कोड़ा लेकर खुद को मारने लगते हैं।

कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा 7 नवंबर को महाराष्ट्र में प्रवेश करने से पहले, कुल 375 किलोमीटर की दूरी तक फैले तेलंगाना में 19 विधानसभा और 7 संसदीय क्षेत्रों को कवर करेगी। यात्रा 4 नवंबर को एक दिन का ब्रेक लेगी। राहुल गांधी राज्य में पार्टी के प्रचार के दौरान बुद्धिजीवियों, विभिन्न समुदायों के नेताओं से मिलते रहे हैं, जिनमें खेल, व्यवसाय और मनोरंजन क्षेत्र की हस्तियां शामिल हैं। भारत जोड़ो यात्रा 7 सितंबर को तमिलनाडु के कन्याकुमारी से शुरू हुई थी।

पौराणिक कथाओं के अनुसार, पोथराजू असल में देवी महाकाली के भाई हैं। पोथराजू के जिसमें बोनम लेकर चल रही महिलाओं की सुरक्षा होती है। पोथराजू इस पूरे त्यौहार के दौरान आकर्षण का केंद्र बने रहते हैं। वह भीड़ के आगे-आगे खुद पर और लोगों पर कोड़े बरसाते हुए, ढोल की थाप पर झूमते-नाचते चलते हैं। पोथराजू की तोंद होती है और डील-डौल रौबदार होना चाहिए। वह रंगे-पुते होते हैं और शरीर पर हल्दी और माथे पर चंदन का लेप लगाते हैं। पोथराजू एक तरह से इन सभी महिलाओं के भाई की भूमिका में होते हैं। पोथराजू बनने के लिए घंटों मेकअप करना पड़ता है।


Next Story