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भुवनेश्वर। ओडिशा में छह राज्य विश्वविद्यालयों के कुलपतियों के पदों के लिए हुई लिखित परीक्षा पर विवाद हो गया है। वाइस चांसलर पद के लिए शॉर्टलिस्ट किए गए वरिष्ठ प्रोफेसरों ने परीक्षा के दौरान पूछ गए सवालों को अपमानजनक बताया गया है। कुछ उम्मीदवारों ने बताया कि परीक्षा के दौरान एक प्रश्न था: 'यदि भगवान आपके सामने प्रकट होते हैं और आप वरदान मांगते हैं, तो आप क्या मांगना चाहेंगे?'
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, तीन शॉर्टलिस्ट किए गए उम्मीदवारों को बीते सोमवार को राजभवन में राज्यपाल के साथ 'बातचीत' के लिए आमंत्रित किया गया था। लेकिन राज्यपाल गणेशी लाल, जिनकी पत्नी सुशीला देवी का रविवार रात निधन हो गया था, उनसे मुलाकात नहीं हुई। उनके सचिव प्रमोद कुमार मेहरदा ने वरिष्ठ शिक्षाविदों से कहा कि उन्हें एक लिखित परीक्षा देनी होगी।
तीन उम्मीदवार पर नजर रख रहे थे तीन अधिकारी
शॉर्टलिस्ट किए गए एक उम्मीदवार ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि उनके (गवर्नर के) सचिव ने आकर हमें चार प्रश्नों के साथ प्रत्येक पेपर दिया। उन्होंने हमसे 45 मिनट में जवाब लिखने को कहा। तीन अधिकारी कमरे में थे जब हमने जवाब लिखे। एक दूसरे उम्मीदवार ने कहा कि यह एक तरह का मजाक था। लिखित परीक्षा खराब तरीके से हुई थी। अधिकारी हम पर नज़र रख रहे थे जैसे हम बात करेंगे या कुछ करेंगे। हालांकि देर शाम को नतीजे घोषित किए गए।
तीन उम्मीदवार पर नजर रख रहे थे तीन अधिकारी
शॉर्टलिस्ट किए गए एक उम्मीदवार ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि उनके (गवर्नर के) सचिव ने आकर हमें चार प्रश्नों के साथ प्रत्येक पेपर दिया। उन्होंने हमसे 45 मिनट में जवाब लिखने को कहा। तीन अधिकारी कमरे में थे जब हमने जवाब लिखे। एक दूसरे उम्मीदवार ने कहा कि यह एक तरह का मजाक था। लिखित परीक्षा खराब तरीके से हुई थी। अधिकारी हम पर नज़र रख रहे थे जैसे हम बात करेंगे या कुछ करेंगे। हालांकि देर शाम को नतीजे घोषित किए गए।
एनआईटी राउरकेला के पूर्व निदेशक सुनील सारंगी ने कहा कि अकादमिक नेताओं का सम्मान करने की जरूरत है। अगर कुलपति का सम्मान कुलपति की ओर से किया जाता है, तो वह विश्वविद्यालय में अपने सहयोगियों के साथ सम्मान के साथ पेश आते हैं और शिक्षक छात्रों के साथ अच्छा व्यवहार करेंगे। उन्होंने लिखित परीक्षा पर आपत्ति नहीं जताई, लेकिन कहा कि उन्हें चांसलर से ब्रीफिंग के साथ होना चाहिए, न कि एक अधिकारी के साथ।
रिपोर्ट के अनुसार, अभ्यर्थियों ने कहा कि चार प्रश्नों के जवाब देने को कहे गए थे, जो इस प्रकार हैं:-
1. ब्रम्हांड ... पर टिका हुआ है
2. ब्रह्मांड के निर्माण में विश्वविद्यालय की भूमिका?
3. आपका वर्क एक्सपीरियंस? काम करने की शैली? काम करने की भावना?
4. अगर ईश्वर आपके सामने प्रकट हो जाएं और कहें कि वरदान मांगो तो आप क्या मांगना चाहेंगे?
1. ब्रम्हांड ... पर टिका हुआ है
2. ब्रह्मांड के निर्माण में विश्वविद्यालय की भूमिका?
3. आपका वर्क एक्सपीरियंस? काम करने की शैली? काम करने की भावना?
4. अगर ईश्वर आपके सामने प्रकट हो जाएं और कहें कि वरदान मांगो तो आप क्या मांगना चाहेंगे?
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