चाचा ने प्लानिंग कर किया भतीजे का मर्डर, दामाद के साथ गिरफ्तार
भोपाल। मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा में 14 जनवरी को एक अज्ञात लाश मिलने के मामले का पुलिस ने खुलासा कर दिया है. गांव के सरपंच की सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया था. साथ ही पुलिस अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर जांच में जुट गई थी. इसके बाद पुलिस ने मंगलवार को हत्या का खुलासा करते हुए चार लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. बताया गया है कि चाचा ने दमाद के साथ मिलकर भतीजे की हत्या की थी. मामला नवेगांव थाना के बेलगांव माल का है.
एएसपी डॉ. संजीव उइके ने बताया कि 14 जनवरी को थाना प्रभारी को सरपंच ने सूचना दी थी कि बेन नदी की पुलिया के पास एक अज्ञात लाश पड़ी है. जानकारी मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंच गई. मृतक के शरीर, गर्दन, पेट और अन्य जगहों पर धारदार हथियार से हमला किया गया था. पुलिस के लगातार प्रयासों के बाद पता चला कि मृतक का नाम दिलीप वरकड़े है. वह 35 साल का था और खमारपानी का रहने वाला था. वह कुछ दिनों पहले ही नागपुर जेल से 376 के मामले में सजा काट कर बाहर आया था. इस मामले की वजह से ही पत्नी ने साथ रहना छोड़ दिया था. इसके बाद वह दूसरी शादी करने के लिए लड़की देख रहा था.
इस बात का फायदा मृतक युवक के चाचा ने उठाया. दरअसल, उसने चाचा को अपनी जमीन बेच दी थी, लेकिन वह रजिस्ट्री नहीं कर रहा था. रजिस्ट्री करने के बदले में और पैसों की मांग कर रहा था. तभी घटना वाले दिन चाचा सुखलाल ने अपने दामाद परशुराम से दिलीप को फोन कराया. उसे लड़की देखने के बहाने गांव में बुलाया. इसके बाद सुखलाल, परशुराम ने दो अन्य लड़कों अनिल और सुनील के साथ मिलकर दिलीप से रजिस्ट्री करने को कहा. मगर, दिलीप ने बिना पैसे लिए रजिस्ट्री करने से मना कर दिया. इसके बाद चारों ने मिलकर उसके साथ मारपीट की और धारदार हथियार से वार करते हुए उसकी हत्या कर दी.
वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी लाश को पुलिया पर फेंक आए थे. इसके बाद मृतक का मोबाइल और पर्स को भी जला दिया था, ताकि उसकी शिनाख्त न हो सके. फिलहाल, पुलिस ने सुखलाल, परशुराम, अनिल और सुनील को गिरफ्तार कर लिया है. उन्हे जेल भेज दिया गया है.