यूपी। उत्तर प्रदेश के उन्नाव में एसटीएफ ने शराब, लकड़ी, गांजा चरस नहीं, बल्कि बंदरों की तस्करी करने वालों को गिरफ्तार किया था. पकड़े गए आरोपियों के पास से 20 लंगूर बंदर भी बरामद हुए थे, जिन्हें बाद में वन विभाग ने कानपुर के चिड़ियाघर में छोड़ दिया. फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है.
बता दें कि उन्नाव के बिहार थाना के कस्बा पाटन में 3 दिन पहले एक किराए के घर में पिछले 6 साल से रह रहे एक वर्ग विशेष के दो लोगों को यूपी एसटीएफ की टीम ने बंदरों की तस्करी के आरोप में गिरफ्तार किया था. यूपी एसटीएफ की टीम ने आरोपियों के पास से जाल में बंद किए गए 20 लंगूर बंदर भी बरामद किए थे. आरोपी पश्चिमी यूपी के जिलों में बंदरों की बिक्री करते थे. लंगूर बंदरों की तस्करी करने वाले युवकों के मुख्य सरगना की तलाश में एसटीएफ की टीम लगी हुई थी. फिलहाल एसटीएफ की टीम पकड़े गए आरोपियों को अपने साथ ले गई है. उन्नाव जनपद के वन अधिकारी ने बताया की लंगूरों को उच्चाधिकारियों के निर्देशानुसार सुरक्षित कानपुर चिड़ियाघर में पहुंचा दिया गया है.
उन्नाव उप प्रभागीय वनधिकारी आर एन चौधरी ने कहा कि रेंजर बीघापुर और एसटीएफ को जानकारी मिली थी कि कुछ लोग लंगूर बंदरों की तस्करी करते हैं. इसके बाद पाटन गांव गए और दो अभियुक्तों को पकड़ लिया. इनमें सद्दाम और नदीम के पास से 20 लंगूर बंदर मिले हैं. बिहार थाने में एफआईआर दर्ज की गई है. लंगूर की तस्करी को लेकर आरोपियों ने कोई जवाब नहीं दिया. उन्होंने कहा कि चूकि यहां के लोग कहते हैं कि यहां लंगूर परेशान कर रहे हैं, कहीं-कहीं लोग बच्चे पालते हैं. फिलहाल इस मामले की जांच की जा रही है.